भारत के पूर्व कोच जॉन राइट का मानना है कि अगले माह होने जा रही टेस्ट श्रृंखला में भारत को अगर ऑस्ट्रेलिया में तख्ता पलट करना है तो उसे किसी वरिष्ठ खिलाड़ी के स्थान पर युवा बल्लेबाज युवराजसिंह को लाना चाहिए।
न्यूजीलैंड के इस पूर्व सलामी बल्लेबाज के हवाले से हेराल्ड सन अखबार में लिखा है कि मैं उम्मीद करता हूँ युवराज का भाग्य ऑस्ट्रेलिया की सख्त और तेज पिचों पर साथ देगा।
अगर आप ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ कोई सफल योजना बना रहे हैं तो उसको युवराज जितनी जल्दी हो सके टीम में शामिल कर लिया जाए।
भारतीय क्रिकेट टीम की कमान को 2000 से 2005 तक संभालने वाले जॉन राइट ने कहा कि युवराजसिंह पाकिस्तान के खिलाफ एक दिवसीय श्रृंखला में मैन ऑफ द सिरीज रहा है लेकिन मौजूदा टेस्ट श्रृंखला में उसकी अनदेखी की जा रही है। इस प्रतिभाशाली बाएँ हाथ के बल्लेबाज को टेस्ट टीम में शामिल नहीं किया जाना ठीक नहीं है।
उन्होंने कहा कि कुछ लोग है, जिनकी उम्र उनका साथ नहीं दे रही है लेकिन उनका पिछला प्रदर्शन मायने रखता है ऐसे लोग कुछ दबाव में हैं।
युवराज को टेस्ट टीम में शामिल नहीं किया गया लेकिन उसने पाकिस्तान के खिलाफ एक दिवसीय में 68 की औसत से 272 रन बनाए थे।
न्यूजीलैंड टीम के नवनियुक्त हाई परफॉरमेंस मैनेजर जॉन राइट ने कहा कि युवराज को लाने के अलावा भारत को अगर ऑस्ट्रेलिया को नेस्तनाबूत करना है तो उसे वहाँ लगातार आक्रामक रवैया अपनाना होगा।
उन्होंने कहा कि सलामी बल्लेबाज अगर पिछले दौरे की तरह पहले घंटे का खेल निकाल गए तो मध्यम क्रम के बल्लेबाजों को रन बनाने में आसानी होगी।
राइट ने कहा कि भारतीय टीम अच्छी बल्लेबाजी करने की क्षमता है, लेकिन अगर वह साहस दिखा पाती है तो उस पहली पारी में बड़ा स्कोर खड़ा करके विरोधी टीम पर दबाव बनाने की रणनीति अपनानी चाहिए।
यदि वह दो स्पिनरों के साथ खेलता है और कैच पकड़ने में कोई गलती नहीं करता है तो भारत और ऑस्ट्रेलिया की सीरीज धमाकेदार साबित हो सकती है।
अनिल कुंबले को टेस्ट कप्तान बनाए जाने का समर्थन करते हुए राइट ने कहा कि अनिल बहुत अच्छा टेस्ट कप्तान साबित होगा। मुझे खुशी है कि उसे कप्तान बनाया गया है।