नई दिल्ली:भारतीय महिला क्रिकेटर 30 सितम्बर 2020 से बिना किसी अनुबंध के हैं और उन्हें यह पता नहीं है कि दो जून को इंग्लैंड दौरे के लिए जब वे उड़ान पकड़ेंगी तब तक वे नए वार्षिक अनुबंध पर हस्ताक्षर कर पाएंगी या नहीं। इस दौरे में भारतीय महिला टीम को एक टेस्ट, तीन वनडे और तीन टी 20 खेलने हैं। यह एकमात्र टेस्ट भारत का पिछले लगभग सात वर्षों में पहला टेस्ट होगा।
बीसीसीआई के एक अधिकारी ने बताया कि यह मामला पूरी तरह सचिव जय शाह का कार्यालय देख रहा है इंग्लैंड दौरे के लिए भारतीय टीम की घोषणा शुक्रवार रात को की गयी थी और खिलाड़ियों को 18 मई को मुंबई में एकत्र होने के लिए कहा गया है। समझा जाता है कि भारतीय खिलाड़ी पुरुष खिलाड़ियों की तरह दो सप्ताह के क्वारंटीन से गुजरेंगी, इसके बाद पूरी टीम चार्टर उड़ान से ब्रिटेन के लिए रवाना होगी।
भारतीय महिला टीम का इंग्लैंड दौरा 15 जुलाई को समाप्त होगा। इसके बाद भारत को इस वर्ष बाद में या अगले साल के शुरू में ऑस्ट्रेलिया और न्यूज़ीलैंड के दौरों पर जाना होगा ताकि वह 2022 में होने वाले एकदिवसीय विश्व कप की तैयारियों को बेहतर कर सके। कई भारतीय खिलाड़ियों को जुलाई से लेकर देर नवम्बर तक इंग्लैंड में द हंड्रेड और ऑस्ट्रेलिया में महिला बिग बैश लीग में हिस्सा लेना है।
अप्रैल में बीसीसीआई ने 28 पुरुष खिलाड़ियों के लिए चार वर्गों के अनुबंध ( ग्रेड ए प्लस सात करोड़ रुपये , ग्रेड ए पांच करोड़ रुपये, ग्रेड बी तीन करोड़ रुपये और ग्रेड की एक करोड़ रुपये )की घोषणा की थी। महिला वर्ग का पिछले अनुबंध तीन वर्गों ग्रेड ए 50 लाख रुपये, ग्रेड बी 30 लाख रुपये और ग्रेड सी 10 लाख रुपये का था।
ओवरआल 22 महिला खिलाड़ियों को 2020 में वार्षिक अनुबंध दिए गए थे। स्मृति मंधाना, हरमनप्रीत कौर और पूनम यादव को सर्वोच्च ग्रेड में रखा गया था जबकि मौजूदा वनडे कप्तान मिताली राज को टी 20 से संन्यास के बाद ग्रेड बी में भेज दिया गया था।(वार्ता)