दिल्ली ने पहले बल्लेबाजी करते हुए नितीश राणा की 98 गेंद में 10 चौकों और तीन छक्कों की मदद से 107 रन की पारी की बदौलत आठ विकेट पर 284 रन बनाए। अपने कप्तान के खराब बर्ताव के कारण ध्यान भटका चुकी मध्यप्रदेश की टीम इसके जवाब में 42.4 ओवर में 209 रन पर सिमट गई। कामचलाऊ स्पिनर ललित यादव ने 25 रन देकर पांच विकेट चटकाए।
उन्होंने बाएं हाथ के स्पिनर रमीज खान की गेंद पर स्वीप शॉट खेला और स्क्वेयर लेग पर क्षेत्ररक्षक ने कैच लपक लिया। मध्यप्रदेश के खिलाड़ी जश्न मनाने लगे लेकिन राणा खड़े रहे। अंपायर राजीव गोदारा इसके बाद स्क्वेयर लेग अंपायर नवदीप सिंह के पास पहुंचे और चर्चा के बाद दोनों ने तीसरे अंपायर (इस मामले में मैच रैफरी) से रैफरल मांगा।
रीप्ले देखने के बाद मैच रैफरी नितिन गोयल ने राणा को नाटआउट करार दिया जिसके बाद एक टेस्ट, एक वनडे और दो टी20 अंतरराष्ट्रीय मैच खेलने वाले ओझा ने आपा खो दिया। उन्होंने गोदारा की ओर अंगुली उठाकर गुस्से में प्रथम श्रेणी अंपायर के रूप में उनकी क्षमता पर सवाल उठाए। मैच रैफरी गोयल को इसके बाद मैदान पर आना पड़ा क्योंकि लगभग 20 मिनट तक खेल रुका रहा। इसके बाद मैच दोबारा शुरू हुआ।