एक तरफ सियासी दल अपनी-अपनी जीत के दावे कर रहे है तो वहीं राजनीति के जानकार और सट्टा बाजार में चुनाव को लेकर अपने-अपने दावे और भविष्यवाणी करने में पीछे नहीं है। मध्यप्रदेश में जहां 29 लोकसभा सीटों पर चरणों में मतदान खत्म हो चुका है वहां पर चुनाव नतीजे कैसे होंगे यह भी सियासी गलियारों में चर्चा के केंद्र में
पांच चऱणों के चुनाव के बाद अगर सबसे अधिक चर्चा है तो वह फलोदी सट्टा बाजार की है। भाजपा के दावों के विपरीत फलोदी सट्टा बाजार के सटोरियों के मुताबिक़ भाजपा को चुनाव में चार सौ सीटें नहीं मिलेगी। फलोदी सट्टा बाजार के मुताबिक भाजपा 300 से अधिक सीटें जीत सकती है लेकिन वह 400 के आंकड़े से कही पीछे रह जाए।
वहीं फलोदी सट्टा बाजार में लोकसभा चुनाव में मुख्य विपक्षी दल कांग्रेस को 60 से 65 सीटें ही मिलने का दावा किया जा रहा है। दिलचस्प बात यह है कि सट्टा बाजार में पार्टियों के साथ हाईप्रोफाइल सीटों को लेकर सट्टा लगाया जा रहा है। इसमें मध्यप्रदेश की छिंदवाड़ा लोकसभा सीट के साथ राजगढ़ लोकसभा सीट, उत्तर प्रदेश की रायबरेली, अमेठी, आजमगढ़, कन्नौज जैसी सीटें शामिल है। सट्टा बाजार में हार-जीत का आकलन के प्रत्याशी का चेहरा, समर्थकों की चुनावी सभा में भीड़ व जातीय सहयोग के साथ पार्टी के ओहदे को ध्यान में रखते हुए भाव तय किए जाते हैं। इस बार भी फलोदी सट्टा बाजार ने इन्हीं बातों को ध्यान में रखते हुए आकलन किया है।
गौरतलब है कि लोकसभा चुनाव में भाजपा 400 पार के नारे के साथ उतरी थी और अब पांच चरणों के चुनाव के बाद प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और गृहमंत्री अमित शाह अपनी हर चुनावी रैली में भाजपा को बहुमत मिलने का दावा कर रहे है। वहीं विपक्ष दल लगातार भाजपा की हार के दावे कर रहे है। समाजवादी पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष अखिलेश यादव अपनी चुनावी रैली में दावा कर रहे है कि भाजपा 400 सीटें जीतने नहीं बल्कि 400 सीटें हारने जा रही है। वह दावा करते है कि उत्तर प्रदेश में भाजपा की बड़ी हार होने जा रही है।