भोपाल। बेटे के गुंडागर्दी के चले विवादों में घिरे मध्यप्रदेश सरकार के नए नवेले राज्यमंत्री नरेंद्र शिवाजी पटेल की मुश्किलें बढ़ गई है। बेटे की गुंडागर्दी और फिर पुलिस कर्मियों पर सत्ता का रौब दिखाने को लेकर मंत्री नरेंद्र शिवाजी पटेल को लेकर भाजपा हाईकमान ने पूरी रिपोर्ट तलब की है। भाजपा सूत्रों के मुताबिक पार्टी हाईकमान ने पूरे मसले पर कड़ी नाराजगी जताते हुए मंत्री नरेंद्र शिवाजी को फटकार लगाने के साथ कड़ी कार्रवाई के संकेत दिए है।
बताया जा रहा है कि मंत्री नरेंद्र शिवाजी पटेल पर कड़ी अनुशसनात्मक कार्यवाही की जा सकती है। इससे पहले भाजपा प्रदेश अध्यक्ष वीडी शर्मा ने भी कड़ी कार्रवाई के संकेत दिए थे। वहीं खुद मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने भी मंत्री नरेंद्र शिवाजी पटेल को फटकार लगाई थी। ऐसे में अब पूरा मामला भाजपा हाईकमान तक पहुंचने के बाद मंत्री पद भी खतरे मेंं आ गया है।
क्या है पूरा मामला?- मोहन यादव सरकार में राज्य मंत्री नरेंद्र शिवाजी पटेल के बेटे अभिज्ञान पटेल पर भोपाल में एक पत्रकार और एक रेस्टोरेंट संचालक दंपत्ति से मारपीट करने का मामला सामने आया था। इतना ही मंत्री के बेटे पर शाहपुरा थाने में पुलिस कर्मियों से अभद्रता करने का भी आरोप है। वहीं मंत्री के दबाव में पुलिस के आला अधिकारियों ने आरोपी मंत्री के बेटे के खिलाफ कार्रवाई करने की जगह पूरे मामले में चार पुलिसकर्मियों को सस्पेंड कर दिया था।
पूरे मामले में पीड़ित पक्ष का आरोप है कि सत्ता के नशे में चूर मंत्री के बिगड़ैल बेटे ने पहले उसकी बाइक को पीछे से टक्कर मारी, और फिर विरोध करने पर मीडियाकर्मी की पिटाई कर दी गई। इस दौरान मीडिया कर्मी को बचाने आए घटनास्थल के पास मौजूद एक रेस्टोरेंट के मालिक, उसकी पत्नी और नौकर की भी मंत्री के बेटे और उनके दोस्तों ने पिटाई कर दी। मारपीट का ये पूरा मामला CCTV में भी कैद हो गया है। घटना के तत्काल बाद मंत्री पुत्र और उसके दोस्तों के खिलाफ पुलिस ने मार-पीट और गाली-गलौज की धाराओं में मामला दर्ज किया।
इसके साथ ही पुलिस मंत्री के बेटे को लेकर थाने पहुंची, तो घटना की सूचना मिलते ही मंत्री महोदय थाने पहुंच गए। इस दौरान मंत्री ने हिरासत के दौरान पुलिस पर बेटे के साथ मारपीट करने का आरोप लगाया। वहीं पूरे मामले को लेकर कांग्रेस सरकार पर हमलावर है। रविवार को प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष पीड़ित परिवार से मुलाकात करने के साथ शाहपुरा थाने पहुंचकर पुलिस की कार्रवाई पर सवालिया निशान उठाए थे।