मोदी ने बनारस के लोगों से क्या किया वादा...

शनिवार, 17 मई 2014 (23:21 IST)
वाराणसी। भारत के भावी प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने शनिवार को अपने लोकसभा क्षेत्र वाराणसी का दौरा किया और वहां के लोगों से अनूठा वादा लिया। उन्होंने गंगा आरती के बाद वाराणसी में एक सभा को संबोधित किया और कहा कि देश को 2019 में महात्मा गांधी की 150वीं जयंती से पहले साफ-सुथरा बनाना है और इसकी शुरुआत काशी से होनी चाहिए।
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वाराणसी में आज शाम गंगा आरती में भाग लेने के बाद मोदी ने कहा कि जब भारत विश्व का नेतृत्व कर रहा था, वाराणसी ने राष्ट्र की अगुवाई की। जब तक वाराणसी देश की अगुवाई नहीं करता, भारत विश्व का नेतृत्व नहीं कर सकता। उन्होंने देश के लोगों का आह्वान किया कि वे उनको समर्थन दें और भारत का प्राचीन गौरव वापस हासिल करने और वाराणसी को प्रमुख स्थान दिलवाने में अपना योगदान दें।

उन्होंने वादा किया कि इस पवित्र नगरी को एक बड़े पर्यटक स्थल में परिवर्तित किया जाएगा। उन्होंने कहा कि शहर को स्वच्छ करना उनकी शीर्ष प्राथमिकता है और ऐसा करने के लिए उन्होंने लोगों का सहयोग मांगा।

मोदी ने कहा कि काशी को देश की सांस्कृतिक एवं आध्यात्मिक राजधानी बनाने के लिए पहली स्थिति शहर को स्वच्छ रखना है। उन्होंने कहा कि इस नगरी में फिर से महान पर्यटक स्थल बनने की संभावना है।

उन्होंने कहा कि उन्हें वाराणसी के लोगों के वोटों की नहीं शहर को स्वच्छ रखने में उनके सहयोग की भी जरूरत है। भाजपा के पक्ष में आए चुनाव नतीजों की चर्चा करते हुए उन्होंने कहा कि मोदी की फोटो वाले पोस्टर अपने आप यह नहीं कर सकते थे बल्कि मां गंगा ने यह सब किया है।

उन्होंने कहा कि कई सरकारें आईं और गईं लेकिन गंगा को स्वच्छ करना दूर का सपना ही बना हुआ है। मां गंगा प्रतीक्षा कर रही हैं कि उनके कुछ पुत्र नदी को साफ करने का कार्य पूरा करेंगे। मेरे लिए भगवान ने कई काम तय कर रखे हैं..।

इससे पहले बाबा विश्वनाथ की पूजा-अर्चना करने के बाद मोदी दशाश्वमेध घाट गए और उन्होंने गंगा आरती में भाग लिया। श्लोकों के उच्चारण और शंखनाद के बीच उन्होंने करीब आधे घंटे तक गंगा आरती में भाग लिया।

मोदी के साथ भाजपा अध्यक्ष राजनाथ सिंह, उनके करीबी सहयोगी अमित शाह और पार्टी के उप्र प्रदेशाध्यक्ष लक्ष्मीकांत वाजपेयी मौजूद थे। मोदी की वाराणसी यात्रा को काशी के लोगों के प्रति आभार प्रकट करने के रूप में लिया जा रहा है, जहां से वे तीन लाख मतों से अधिक अंतर से जीते हैं। (भाषा)

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