राष्ट्रपति कोविंद ने पूर्व प्रधानमंत्री व भारतीय राजनीति की महान विभूति अटल बिहारी वाजपेयी के देहावसान से मुझे बहुत दुख हुआ है। विलक्षण नेतृत्व, दूरदर्शिता तथा अद्भुत भाषण उन्हें एक विशाल व्यक्तित्व प्रदान करते थे।उनका विराट व स्नेहिल व्यक्तित्व हमारी स्मृतियों में बसा रहेगा।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा कि हम सभी के श्रद्धेय अटल जी हमारे बीच नहीं रहे। अपने जीवन का प्रत्येक पल उन्होंने राष्ट्र को समर्पित कर दिया था। उनका जाना, एक युग का अंत है। मैं नि:शब्द हूं, शून्य में हूं, लेकिन भावनाओं का ज्वार उमड़ रहा है। लेकिन वो हमें कहकर गए हैं-
“मौत की उमर क्या है? दो पल भी नहीं,
ज़िन्दगी सिलसिला, आज कल की नहीं
मैं जी भर जिया, मैं मन से मरूं,
लौटकर आऊँगा, कूच से क्यों डरूं?”
भाजपा अध्यक्ष अमित शाह ने ट्वीट कर कहा, अपने जीवन का क्षण-क्षण और शरीर का कण-कण देश, संगठन व विचारधारा को पूर्णतः समर्पित कर देना इतना आसान नहीं होता। अटल जी को हम सब ने एक आदर्श स्वयंसेवक, समर्पित कार्यकर्ता, कवि, ओजस्वी वक्ता व अद्भुत राजनेता के रूप में देखा। उन्होंने संगठन को अपने तप और अथक परिश्रम से सींच कर एक वटवृक्ष बनाया। अटल जी की छवि इस देश के एक ऐसे जनप्रिय राष्ट्रीय नेता के रूप में उभरी जिसने सत्ता को सेवा का माध्यम माना और राष्ट्रहितों समझौता किए बगैर बेदाग राजनीतिक जीवन जिया। और यही वजह रही कि देश की जनता ने अपनी सामाजिक और राजनीतिक सीमाओं से बाहर जा कर उन्हें प्यार और सम्मान दिया।
अटल जी आज हमारे बीच में नहीं रहे, लेकिन उनकी प्रेरणा, उनका मार्गदर्शन, हर भारतीय को, हर भाजपा कार्यकर्ता को हमेशा मिलता रहेगा। ईश्वर उनकी आत्मा को शांति प्रदान करे और उनके हर स्नेही को ये दुःख सहन करने की शक्ति दे। ओम शांति !
वित्त मंत्री पीयूष गोयल ने ट्वीट कर कहा, 'श्रद्धेय अटल बिहारी वाजपेयी जी का जाना एक युग का अंत है। अटल जी का महान व्यक्तित्व, सौम्य शैली, राष्ट्रभक्ति, दूरदृष्टि, चुनौतियों से सामना करने की दृढ़ इच्छाशक्ति व उनके महान आदर्श हमें सदैव प्रेरणा देंगे। व्यक्तिगत रूप से मेरे लिए यह एक अपूरणीय क्षति है। भावपूर्ण श्रद्धांजलि।'