नई दिल्ली। कांग्रेस ने शनिवार को सरकार से किसानों के कर्ज माफ करने की मांग की और आरोप लगाया कि नरेंद्र मोदी सरकार देश के गन्ना किसानों की परेशानी पर ध्यान देने की बजाय पाकिस्तान से चीनी का आयात कर रही है।
पार्टी के मुख्य प्रवक्ता रणदीप सुरजेवाला ने एक बयान में कहा, देशभर के 130 से अधिक किसान संगठन मोदी सरकार की किसान विरोधी नीतियों के चलते एक से दस जून तक 'गांव बंदी' आंदोलन कर रहे हैं। यह पहला अवसर नहीं है कि किसानों ने भाजपा सरकार के प्रति अपना रोष प्रकट किया हो। बीते चार सालों से यही हालत है।
उन्होंने दावा किया, किसान खेतों की अपेक्षा सड़कों पर आंदोलित दिखाई देता है। मगर भाजपा सरकार के सत्ता के अहंकार का आलम यह है कि वो किसानों की मांगों का संज्ञान लेने की बजाय कभी उनके सीने में गोलियां उतार देती है, तो कभी उन्हें जेलों में ठूस देती है। मोदी सरकार किसानों से अपराधियों की तरह बांड भरवा रही है।
कांग्रेस नेता ने कहा कि मोदी सरकार ने किसानों को धोखा देते हुए देश के उच्चतम न्यायालय में 6 फरवरी, 2015 को शपथ पत्र दिया कि अगर स्वामीनाथन कमीशन की 'लागत का 50 फीसदी से ज्यादा समर्थन मूल्य' देने की सिफारिश को स्वीकार किया गया तो बाजार बिगड़ जाएगा। इसका मतलब यह है कि मोदी सरकार किसानों की अपेक्षा जमाखोरों और बिचौलियों के पक्ष में खड़ी हो गई।
उन्होंने कहा, गन्ना किसानों की दुर्दशा का भी यही हाल है। देश के गन्ना किसानों का लगभग 20 हज़ार करोड़ रुपया बकाया है। मूल कारण यह है कि शक्कर के अच्छे उत्पादन के बाद भी शक्कर का भाव धराशायी हो गया है। मोदीजी ने पाकिस्तान से बड़ी मात्रा में शक्कर का आयात करवाकर देश के गन्ना किसानों के जीवन में कड़वाहट घोल दी है। सुरजेवाला ने सवाल किया कि मोदी सरकार जब अपने कुछ धनपतियों का लाखों करोड़ रुपए का कर्ज माफ़ कर सकती है तो फ़िर किसानों का कर्ज क्यों नहीं माफ़ कर सकती? (भाषा)