three new laws : केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह (Amit Shah) ने देशभर में नए आपराधिक कानून लागू होने के बीच सोमवार को नई दिल्ली में कहा कि अब तीन नए कानूनों (three new laws) के कार्यान्यन के बाद दंड की जगह न्याय होगा और देरी की जगह त्वरित सुनवाई होगी। शाह ने यहां नए आपराधिक कानूनों के संबंध में एक संवाददाता सम्मेलन को संबोधित करते हुए कहा कि आजादी के 77 साल बाद आपराधिक न्याय प्रणाली स्वदेशी हो रही है और यह भारतीय लोकाचार के आधार पर चलेगी।
भारतीय न्याय संहिता (बीएनएस) 2023, भारतीय नागरिक सुरक्षा संहिता (बीएनएसएस) 2023 और भारतीय साक्ष्य अधिनियम (बीएसए) 2023 सोमवार से पूरे देश में प्रभावी हो गए। इन तीनों कानून ने ब्रिटिश कालीन कानूनों क्रमश: भारतीय दंड संहिता (आईपीसी), दंड प्रक्रिया संहिता (सीआरपीसी) और भारतीय साक्ष्य अधिनियम की जगह ली है।
शाह कहा कि तीनों आपराधिक न्याय कानूनों के कार्यान्वयन से सबसे आधुनिक आपराधिक न्याय प्रणाली की स्थापना होगी। उन्होंने कहा कि इन कानूनों के लागू होने से दंड की जगह न्याय मिलेगा और देरी की जगह त्वरित सुनवाई एवं त्वरित न्याय होगा। उन्होंने कहा कि पुरानी व्यवस्था में केवल पुलिस के अधिकार सुरक्षित थे, लेकिन अब पीड़ितों और शिकायतकर्ताओं के अधिकार सुरक्षित होंगे।
उन्होंने बताया कि नई आपराधिक न्याय प्रणाली के बारे में 22.5 लाख से अधिक पुलिसकर्मियों को प्रशिक्षित करने के लिए 12,000 से अधिक मास्टर प्रशिक्षक तैनात किए गए और नए कानून के तहत पहला मामला ग्वालियर में रविवार रात 12 बजकर 10 मिनट पर मोटरसाइकल चोरी का दर्ज किया गया।(भाषा)