नई दिल्ली। केंद्रीय प्रत्यक्ष कर बोर्ड (सीबीडीटी) प्रमुख ने कहा है कि सिर्फ आधार के जरिए ‘आयकर रिटर्न’ दाखिल करने वाले व्यक्ति को नयी व्यवस्था के तहत आयकर विभाग स्वत: ही एक पैन जारी कर देगा। दरअसल, बजट में यह प्रस्ताव किया गया है कि इस कार्य के लिए सिर्फ बायोमीट्रिक पहचान पत्र ही पर्याप्त है। यह नई व्यवस्था दोनो डेटाबेस (आधार और पैन) को जोड़ने के लिए की गई है।
सीबीडीटी के अध्यक्ष प्रमोद चंद्र मोदी ने कहा कि पैन (स्थायी खाता संख्या) की उपयोगिता निश्चित तौर पर खत्म नहीं हुई है और हालिया बजट में दोनों डेटाबेस (पैन और आधार) को एक-दूसरे की जगह इस्तेमाल करने के लिए एक जैसा बताया जाना एक अतिरिक्त सुविधा है जो उन्हें जोड़े जाने को सुनिश्चित करेगा, जो कि अब कानून के तहत अनिवार्य है।
उन्होंने एक साक्षात्कार में कहा, 'ऐसे मामलों में जहां आधार का संदर्भ दिया जा रहा है और वहां पैन का उल्लेख नहीं है, वहां हम (आयकर रिटर्न जमा करने वाले) व्यक्ति को पैन आवंटित करने की संभावना के बारे में सोच सकते हैं।'
उन्होंने कहा कि यह इस मुद्दे को गलत तरीके से देखा जाना है। निश्चित तौर पर पैन की उपयोगिता खत्म नहीं हो रही। पैन की उपयोगिता बनी रहेगी। यह आयकर जमा करने वालों को अतिरिक्त सुविधा मुहैया कराने की कोशिश भर है कि अगर वह पैन का उल्लेख नहीं कर रहा और उसके पास केवल आधार है तो आयकर रिटर्न दाखिल करने की प्रक्रिया प्रभावित नहीं हो।' उन्होंने कहा कि विभाग के आकलन करने वाले अधिकारी पैन आवंटित करने की अपनी शक्ति का इस्तेमाल करेंगे।
सीबीडीटी प्रमुख ने कहा कि कानून में प्रावधान है कि आकलन अधिकारी स्वत: ही पैन भी आवंटित कर सकते हैं। इसलिए, यदि बिना पैन के आधार का इस्तेमाल किया जाता है तो मैं उन्हें पैन जारी करूंगा और वे आपस में जुड़ जाएंगे।