गांधी ने कहा, प्रधानमंत्री कार्यालय (पीएमओ) अब प्रचार मंत्री का कार्यालय बन गया है। उन्होंने कहा कि कांग्रेस सांस्कृतिक साम्राज्यवाद में विश्वास नहीं करती और इसका मानना है कि देश के किसी एक हिस्से को दूसरे हिस्सों पर शासन नहीं करना चाहिए क्योंकि हर राज्य की अपनी सांस्कृतिक अभिव्यक्ति होती है जिसका सम्मान किया जाना चाहिए।
गांधी ने कहा, देश के हर हिस्से को अपनी बात को अभिव्यक्त करने की अनुमति दी जानी चाहिए। भाजपा-आरएसएस गठजोड़ एक विचार थोपना चाहता है और दूसरे विचारों को कुचलना चाहता है। जब भी उनके खिलाफ कोई विरोध प्रदर्शन होते हैं तो उनकी ये असलियत सामने आ जाती है।
गांधी ने पूर्वोत्तर के मुद्दे पर कहा कि रोजगार संकट से निपटना और क्षेत्र में कनेक्टिविटी को बढ़ावा देना उनकी सरकार की प्राथमिकता है। उन्होंने कहा, हमारे हिसाब से क्षेत्र संभावित विनिर्माण हब है। कृषि क्षेत्र में पर्याप्त भंडारण व्यवस्था न होने के कारण अन्न और सब्जियां यहां बेकार हो जाती हैं। मणिपुर में खाद्य प्रसंस्करण उद्योगों की स्थापना की जा सकती है।