प्रधान न्यायाधीश डीवाई चंद्रचूड़ की अध्यक्षता वाली पांच सदस्यीय संविधान पीठ गैर-सरकारी संगठन (एनजीओ) एसोसिएशन फॉर डेमोक्रैटिक रिफॉर्म्स (एडीआर) की उस याचिका पर सुनवाई करेगी जिसमें उसने मुख्य निर्वाचन आयुक्त अैर अन्य चुनाव आयुक्त अधिनियम, 2023 की धारा सात की वैधता को चुनौती दी है और इसके परिचालन पर रोक लगाने की मांग की है।
इस धारा के तहत प्रधान न्यायाधीश को चयन समिति से बाहर रखा गया है। संविधान पीठ में न्यायमूर्ति चंद्रचूड़ के अलावा न्यायमूर्ति संजीव खन्ना, न्यायमूर्ति बीआर गवई, न्यायमूर्ति जेबी पारदीवाला और न्यायमूर्ति मनोज मिश्रा भी शामिल हैं।
यह सुनवाई इसलिए महत्वपूर्ण है, क्योंकि भारतीय प्रशासनिक सेवा (आईएएस) के पूर्व अधिकारी ज्ञानेश कुमार और सुखबीर संधू को गुरुवार को चुनाव आयुक्त नियुक्त किया गया। उन्हें प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अध्यक्षता वाली एक चयन समिति द्वारा चुना गया है।