यूनेस्को इंटरनेशनल फेडरेशन ऑफ जर्नलिस्ट की ओर से हाल में जारी क्लैंपटाउंस एंड करेज - साउथ एशिया प्रेस फ्रीडम रिपोर्ट 2017-2018' के अनुसार, इंटरनेट सेवा बंद होने और इंटरनेट स्पीड को जानबूझकर धीमा करने की घटनाएं विश्व भर में बढ़ रही हैं और यह प्रेस की स्वतंत्रता और अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता नियंत्रण का पैमाना है।