पवार पार्टी की बैठक को संबोधित कर रहे थे। इससे पहले उनके भतीजे अजित पवार ने अलग बैठक कर अपना शक्ति प्रदर्शन किया। अजित पवार ने शरद पवार के खिलाफ पिछले दिनों बगावत का बिगुल बजाते हुए भाजपा का दामन थाम लिया और महाराष्ट्र सरकार में उपमुख्यमंत्री बन बैठे। उनके साथ राकांपा के आठ अन्य विधायकों ने भी मंत्री पद की शपथ ली थी।
शरद पवार ने कहा कि भाजपा के साथ जिसने भी हाथ मिलाया और सत्ता में हिस्सेदारी की, वो अंतत: राजनीतिक रूप से तबाह ही हुए। अपने राजनीतिक सहयोगियों की जड़ें काटना भाजपा की नीति है। दूसरे राज्यों में इसकी कई मिसालें हैं।
उनका कहना था कि अकाली दल, भाजपा के साथ लंबे समय से था लेकिन अब कहीं नहीं है। तेलंगाना, आंध्र प्रदेश और बिहार में यही हालात हुए। बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार को इसका अहसास हो गया था और फिर उन्होंने राजद के साथ गठबंधन कर लिया। राकांपा प्रमुख ने कहा कि अब जो लोग भाजपा के साथ गए हैं, उन्हें ऐसा नहीं सोचना चाहिए कि उनके साथ कुछ अलग होगा।
मेरी तस्वीर का इस्तेमाल क्यों? : पवार ने अजित पवार गुट द्वारा उनकी तस्वीर का इस्तेमाल करने को लेकर भी आपत्ति जताई। उन्होंने कहा कि अगर वो उधर चले गए हैं तो मेरी तस्वीर का इस्तेमाल क्यों कर रहे हैं? मैं अपनी पार्टी का नाम और चुनाव निशान उनके हाथों में नहीं जाने दूंगा। (एजेंसी/वेबदुनिया)
Edited by: Vrijendra Singh Jhala