5. प्रकृति का स्वरूप ही जगदम्बा है अत: इन 9 दिनों में प्रकृति के प्रति अपने कर्तव्यों का पालन करें। अधिकतर देखा जाता है कि लोग फूल, पेड़ और पौधों को विशेष रूप से करपुष्प के पौधों, बिल्वपत्र एवं शमी को बेरहमी से नोचते हैं। ये भी मां भगवती के ही अंग-प्रत्यंग हैं। इन्हें नुकसान पहुंचाकर आप अपनी साधना को सफल नहीं कर सकते हैं।