यहां इन बच्चों को कम्बल में लपेट में रखा गया है ताकि इन्हें ठंड ना लग जाए। बच्चों को बोतल से दूध पिलाया जाता है। मां से अलग होने के बाद सेंटर के कर्मचारी ही बच्चों की मां का फर्ज निभा रहे हैं। इस घटना ने एक बार फिर इंसानियत के उस पहलू को उजागर किया है, जो अक्सर अनदेखा रह जाता है।