पांच बार के विधायक जयराम ठाकुर और केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री जेपी नड्डा सूबे में मुख्यमंत्री पद के लिए प्रमुख दावेदार माने जा रहे हैं। हिमाचल प्रदेश के नवनिर्वाचित विधायकों में आम सहमति नहीं बन पाने के कारण कल दोनों केंद्रीय पर्यवेक्षक केंद्रीय नेतृत्व से विचार-विमर्श करने के लिए शिमला से वापस दिल्ली लौट गए थे। केंद्रीय मंत्री निर्मला सीतारमण और नरेंद्रसिंह तोमर पर्यवेक्षक के तौर पर कल शिमला आए थे।
भाजपा के सूत्रों ने बताया कि हाल तक ठाकुर मुख्यमंत्री पद की दौड़ में सबसे आगे थे, लेकिन बदले परिदृश्य में नड्डा सबसे अधिक स्वीकार्य उम्मीदवार हो सकते हैं। इस बीच चुनाव हार चुके पार्टी के मुख्यमंत्री पद के उम्मीदवार रहे धूमल ने कहा कि मीडिया में यह अटकलबाजी चल रही है कि मैं मुख्यमंत्री पद के लिए दावेदार हूं।
मैंने मतगणना के दिन ही यह स्पष्ट कर दिया था कि मैं किसी दौड़ में शामिल नहीं हूं। भाजपा के मुख्यमंत्री पद के चेहरे प्रेम कुमार धूमल के चुनावों में हार जाने के बाद पार्टी के सामने नेतृत्व का संकट खड़ा हुआ। कांग्रेस के राजेंद्र राणा ने सुजानपुर सीट से धूमल को चुनाव में शिकस्त दी थी। प्रदेश भाजपा अध्यक्ष सतपालसिंह सत्ती ने बताया कि निर्वाचित विधायकों की बैठक कल होगी। इस दौरान केंद्रीय पर्यवेक्षक उन्हें संबोधित भी करेंगे। (भाषा)