खेल मंत्री एमएस गिल ने राष्ट्रमंडल खेलों के साइकिलिंग वेलोड्रोम का उद्घाटन किया। उन्होंने आयोजकों से इन खेलों के समापन के बाद इस आधारभूत ढाँचे की सही देखभाल करने की अपील की।
वेलोड्रोम का निर्माण 150 करोड़ रुपए की लागत से 17 महीनों में किया गया। इसे बीजिंग ओलिम्पिक के दौरान उपयोग किए गए वेलोड्रोम के बाद दूसरा सर्वश्रेष्ठ वेलोड्रोम माना जा रहा है और इसमें पहली परीक्षण प्रतियोगिता अगले महीने के आखिर में आयोजित की जाएगी।
इस वेलोड्रोम का काम धीमी गति से होने के कारण इसके समय पर तैयार होने को लेकर चिंता जताई जा रही थी लेकिन आयोजकों ने कहा कि इस तरह के बेहतरीन वेलोड्रोम को तैयार करना चुनौती से कम नहीं था।
गिल ने इंदिरा गाँधी स्टेडियम में वेलोड्रोम का उद्घाटन करने के बाद कहा कि आज हमारे लिए विशेष अवसर है। इसको लेकर आशंकाएँ जताई गई लेकिन यह 17 महीने में बनकर तैयार हो गया और निश्चित तौर पर इस पर हमें गर्व है। अन्य मैच स्थल भी तैयार हैं और मैं उनके उद्घाटन की तिथि तय कर रहा हूँ।
उन्होंने कहा लेकिन शादी के बाद क्या होगा? शादी के बाद पंडाल की देखरेख की जानी चाहिए। ये स्टेडियम विश्व स्तरीय हैं और उनकी अच्छी तरह से देखभाल करने की जरूरत है। यह स्थल सात मीटर चौड़ा है, जिसमें 250 मीटर लंबा साइकिलिंग ट्रैक बना हुआ है। इसमें चार मीटर का सुरक्षा क्षेत्र साइबेरिया के देवदार से बनाया गया है। इसमें 3500 दर्शक बैठ सकते हैं और इसके साथ ही इसमें विकलांग खिलाड़ियों के लिए भी विशेष सुविधा है। (भाषा)