Janmashtami Prasad : कृष्ण जन्माष्टमी पर्व पर भगवान श्री कृष्ण के भक्त उपवास रखते हैं तथा तरह-तरह के 56 भोग तैयार करके उन्हें प्रसादस्वरूप अर्पित करते हैं। इस बार सोमवार, 26 अगस्त को जन्माष्टमी का पावन पर्व मनाया जा रहा है। इस खास मौके पर प्रसाद के लिए बनाई जाने वाली पंजीरी विशेष तौर से भोग के लिए बनाई और खाई जाती हैं। यह खाने में स्वादिष्ट तो होती ही है, साथ ही स्वास्थ्य के लिए भी फायदेमंद होती है।
आइए जानते हैं 5 तरह की पंजीरी बनाने की सरल विधियां
विधि : सर्वप्रथम मावे को किसनी से कद्दूकस करके धीमी आंच पर थोड़ा सा सेंक लें। अब उसमें धनिया पावडर डालें व दो-पांच मिनट भून लें। मिश्रण थोड़ा ठंडा होने के बाद खोपरा व शक्कर का बूरा डालकर मिक्स कर लें। अब उसमें पिसी इलायची व मेवों की कतरन डालकर मिश्रण को एकसार कर लें। तैयार है धनिए की पंजीरी।
2. राजगिरे की पंजीरी
सामग्री : 100 ग्राम राजगिरे का आटा, 150 ग्राम शक्कर बूरा, 50 ग्राम किशमिश, 100 ग्राम सभी प्रकार के मेवों की कतरन, आधा चम्मच पिसी इलायची, पाव कटोरी तला व बारीक कूटा हुआ गोंद, कुछेक किशमिश, 150 ग्राम घी।
विधि : एक कढ़ाई में घी गरम कर राजगिरे का आटा डालकर धीमी आंच पर गुलाबी होने तक सेंक लें। सिका आटा थोड़ा ठंडा होने के पश्चात शक्कर बूरा और इलायची पावडर मिलाकर मिश्रण को एकसार कर लें।
अब उसमें तला गोंद व मेवों की कतरन तथा किशमिश मिक्स कर दें। लीजिए तैयार है राजगिरे की पंजीरी।
विधि : घी को गरम कर गोंद तलकर रख लें। गरम घी में बेसन डालकर मध्यम आँच पर हल्का लाल होने तक सेंके। उसे थोड़ी देर ठंडा होने के लिए रख दें।
अब उसमें शक्कर बूरा, खसखस, चारोली, तली गोंद व इलायची पावडर डालकर मिश्रण को एकसार कर लें। तैयार पंजीरी में मेवों की कतरन बुरका दें और भगवान को भोग लगाएं।
4. खड़ा धनिया पंजीरी
सामग्री : 100 ग्राम साबुत खड़ा धनिया, 100 ग्राम पिसी शकर, छोटी पाव कटोरी कटे हुए मखाने, 25 ग्राम सूखे खोपरे के टुकड़े, काजू और बादाम की कतरन, 2-3 इलायची पिसी हुई, कुछेक किशमिश, 4-5 केसर के लच्छे, घी (अंदाज से)।
विधि : सबसे पहले एक कड़ाही में छोटा आधा चम्मच घी गर्म करें। अब धनिया डालकर धीमी आंच पर भूनें। जब धनिए से खुशबू आने लगे तब आंच से उतारकर ठंडा कर लें।
अब सभी मेवे भूनकर अलग रखें। धनिया ठंडा होने पर मिक्सी में बारीक बीस लें। अब इसमें पिसी शकर, तले मेवे और पिसी इलायची डालकर अच्छी तरह मिलाएं। केसर से सजाएं। लीजिए तैयार है शाही धनिया पंजीरी। अब इस प्रसाद से कान्हा जी को भोग लगाएं।
विधि : एक कड़ाही में घी गरम करके सभी मेवों को तलकर रख लें। ठंडे होने के पश्चात उसको मिक्सी में बारीक पीस लें। इसी घी में सूजी डालकर धीमी आँच पर गुलाबी होने तक भून लें। सूजी हल्की गुनगुनी रहने पर उसमें शक्कर व खोपरे का बूरा तथा खसखस मिला दें। और साथ ही बारीक कूटे मेवे डालकर अच्छी तरह मिक्स कर लें। लीजिए तैयार है कृष्ण की मनपसंद मेवा पंजीरी, अब उन्हें भोग अर्पित करके खुद भी ग्रहण करें।