कलेक्टर ने दिए जाँच के आदेश *जनसुनवाई में आई कई अन्य शिकायतें भी

बुधवार, 8 जून 2011 (00:31 IST)
कलेक्टोरेट में आयोजित जनसुनवाई में मंगलवार को महू स्थित पशु स्वास्थ्य व जैविक उत्पाद संस्थान के कर्मचारियों ने संचालक की शिकायत की। उनका कहना था कि 30 अप्रैल को लोकायुक्त विभाग ने संस्थान के संचालक डॉ.बीके सिंह को रिश्वत लेते रंगे हाथों पकड़ा था। 25 दिन की छुट्टी के बाद वे फिर दफ्तर आने लगे और कर्मचारियों को प्रताड़ित कर रहे हैं। कर्मचारियों ने यह भी कहा कि वे तबादला करने की धमकी भी देते हैं।
महू स्थित उक्त संस्थान के कर्मचारियों ने यह माँग की है कि उनकी गोपनीय चरित्रावाली लिखने का काम विभाग के किसी अन्य वरिष्ठ अधिकारियों को दिया जाए और संचालक को उनके मूल विभाग में फिर भेजा जाए। कलेक्टर राघवेन्द्रसिंह ने इस मामले में जाँच के आदेश दिए हैं। जनसुनवाई में इसके अलावा पेंशन, अतिक्रमण, आर्थिक सहायता को लेकर भी लोगों ने आवेदन दिया है। सबसे ज्यादा लोग गरीबी रेखा के कूपन बनवाने के लिए आ रहे हैं। उनके आवेदन लेने के लिए तल मंजिल पर व्यवस्था की गई है। जनसुनवाई में विद्युत, सहकारिता, नगर निगम सहित अन्य विभागों के अधिकारी भी मौजूद थे।
100 वर्ष की वृद्धा पहुँची
नयापुरा निवासी 100 वर्षीय वृद्धा कृष्णा मिश्रा भी जनसुनवाई में अपनी समस्या लेकर पहुँची। उन्होंने कहा कि पिछले 8 माह से उनकी वृद्धावस्था पेंशन बंद कर दी गई है। अधिकारियों ने मामला निगम को सौंप दिया। इसके अलावा सिमरोल निवासी बद्रीलाल ने भी अपनी शिकायत दी। उनका कहना था कि दो वर्ष पहले उनके यहाँ अग्नि हादसा हो गया था। तब दो गायें व बछड़े जल गए थे। प्रशासन ने इसका मुआवजा स्वीकृत किया लेकिन उसकी राशि अभी तक नहीं मिल पाई। छोटी खजरानी निवासी कमाल पटेल ने बताया कि वे दुर्घटना के कारण विकलांग हो चुके है उनके खुद की एक दुकान है लेकिन आर्थिक दिक्कतों के कारण व्यापार शुरू नहीं पा रहे है। अधिकारियों ने उनकी समस्या हल करते हुए स्वर्ण जयंती शहरी रोजगार योजना के तहत फार्म भरवाया। नंदन नगर निवासी प्रेमलता ने कहा कि उनके पति के गुजर जाने के बाद सास ससुर ने बेदखल कर दिया है। महिला ने आर्थिक सहायता की मांग की। इसके बाद उनके सिलाई मशीन देने का आश्वासन दिया गया। -नगर प्रतिनिधि

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