कोरोना से बचाव के लिए 21(इक्कीस) दिनों का ‘लॉक डॉउन’ - 21 दिन' इस 21 की संख्या से कई सारे 21 ध्यान आने लगे। हिन्दी गिनती में 20 के बाद 1 जोड़ कर आने वाले योग की इस संख्या 20+1, जिसको संस्कृत में ‘एकविंशति’, अंग्रेजी में ‘ट्वेंटी वन’ व रोमन में XXI लिखा जाता है। जिस सदी में हम जी रहे हैं वह भी इक्कीसवीं सदी (ट्वेंटी फर्स्ट सेंचुरी )है।
भारत धार्मिक देश है। अजर-अमर अनंत महादेव शिव का पूजन सावन मास में अति महत्व रखता है। इसमें खासतौर से पूजे जाने वाले महाकाल नगरी स्थित 21 महादेव के पूजन विशिष्ट है। रुद्राक्ष एकमात्र ऐसा प्रकृति की ओर से दिया गया वरदान रूपी फल है जिसे अर्थ, धर्म, काम, मोक्ष ,सभी की प्राप्ति में लाभकारी माना जाता है। इनमें 21 मुखी रुद्राक्ष साक्षात् कुबेर स्वरूप माना जाता है। भगवान परशुराम ने पृथ्वी पर से अत्याचारियों के नाश के लिए 21 बार अपना अमोघ परशु उठाया था जो उन्हें भगवन शिव ने दिया था। प्राचीन ग्रंथों में उल्लेख है कि यम लोक की संरचना 21 भागों में बंटी हुई है। व्रत उपवास साधना आदि 21 तक की संख्या में भी मान्य है। भारतीय परंपरा में मनाया जाने वाला कोकिला पूजन व व्रत भी 21 वर्ष में एक बार किया जाता है।
योग विज्ञान में 21 खास संख्या है - 84 का चौथाई भाग। अगर हम तीन मूल नाड़ियों का सात चक्रों से गुणा करें तो यह संख्या 21 होगी। सृष्टि चौरासी चक्रों से हो कर गुजरी है, शारीरिक दृष्टि से इस संख्या के खास महत्व से योग मार्ग का समय भी 21 दिन का होता है व शाम्भवी महामुद्रा का समय भी 21 मिनट है। जीवन विज्ञान में 21 प्रकार के अमीनो एसिड का उल्लेख है। बाइबल में भी 21 नंबर देवदूतों का अंक माना गया है। टैरो कार्ड ज्योतिष पद्धति में भी 21 की संख्या को शुभ व पूर्णता का प्रतीक माना गया है। वैज्ञानिकों के अनुसार शरीर की आत्मा का वजन 21 ग्राम है।
हमारे कानून में 21 वर्ष का युवक विवाह कर सकता है। किसी भी मांगलिक कार्य में 11, 21, 51 अंकों को भी बहुत शुभ माना जाता है। इन पर आधारित व्यवहार, वस्तुएं व शगुन भी किऐ जाते हैं। 21 होना एक प्रचलित लोकोक्ति / हिंदी मुहावरा है जिसका अर्थ होता है- अपेक्षाकृत श्रेष्ठ होना। 21 मई को ही सुष्मिता सेन जो पहली भारतीय सुन्दरी थी जो विश्वसुन्दरी का ख़िताब जीती थी।
21 तोपों की सलामी देश का सर्वोच्च सम्मान समझा जाता है। किसे कितनी तोपों की सलामी दी जाएगी इसका भी नियम रहा है। ब्रिटिश सम्राट को 101, अन्य राजाओं के लिए 21 या 31 की। फिर ब्रिटेन ने तय किया कि अंतर्राष्ट्रीय सलामी 21 तोपों की ही होनी चाहिए।
अमेरिका में भी 21 तोपों की सलामी की प्रथा है। हमारे भारत में गणतंत्र दिवस-26 जनवरी, स्वतंत्रता दिवस- 15 अगस्त, 15 जनवरी- सेना दिवस, 30 जनवरी- शहीद दिवस, राष्ट्रपति भवन में दूसरे देशों के प्रमुखों के आगमन पर स्वागत में सलामी दी जाती है। 21 तोपों को लगभग 2.25 सेकेंड के अंतराल पर फायर किया जाता है ताकि राष्ट्रगान के पूरे बावन सेकेंड में प्रत्येक तीन राउंड में सात तोपों को लगातार फायर किया जा सके।
वैसे तो ब्रह्मांड में विराजमान प्रत्येक सूक्ष्म-वृहद चीज, अंकों आदि का अपना अनूठा-महत्वपूर्ण संदर्भ है। इसके अलावा 21 अंक के भी कई और उदाहरण मिल सकते हैं। यह अनोखा संयोग ही है कि चुनौती पूर्ण और संकट की इस घड़ी में पूर्ण दृढ़ता और शुभ संकल्प का समन्वित परिचय देते हुए आदरणीय प्रधानमंत्री श्री मोदी जी ने लॉक डाउन के लिए 21 दिन की अवधि चुनी है। जो चिकित्सा विज्ञान की दृष्टि से भी उपयुक्त ही कही जानी चाहिए। हम विश्वास के साथ यह संकल्प करें कि शक्ति आराधना के इस पर्व से प्रारंभ होने वाली लॉक डाउन की यह अवधि पूर्णता तक पहुंचते पहुंचते हमें “सर्वे सन्तु निरामय:” का सुफल प्रदान करेगी।