सूर्य की उपासना करने वाले जातक नित्य प्रातः तांबे के लोटे में शुद्ध जल भर लें। फिर सूर्य देवता के सम्मुख खड़े होकर दोनों हाथों से लोटे को ऊंचा उठाकर अर्घ्य देना चाहिए। अर्घ्य के जल में (विशेष रूप से रविवार को) लाल पुष्प, अक्षत, कुंमकुंम डालने से विशेष लाभ की प्राप्ति होती है।
इस प्रकार सूर्य नमस्कार एवं सूर्योपासना द्वारा शरीर को स्वस्थ, सुखी, समृद्ध और खुशहाल बनाया जा सकता है तथा विशेष लाभ भी प्राप्त किया जा सकता है।