पाठ के समय शुद्धता रखनी चाहिए। दुर्गाजी की नित्य सामान्य पूजा जल, पुष्प, फल, मेवा, मिष्ठान्न, रोली व कुंकुम या लाल चंदन, गंध आदि से करते रहना चाहिए।
सप्ताह में कम से कम एक ब्राह्मण व दो कन्याओं को भोजन करना चाहिए। प्रतिदिन पाठ के उपरांत कम से कम 11 आहुतियां दुर्गाजी के नाम से देनी चाहिए।