नई दिल्ली। दिल्ली के उपराज्यपाल अनिज बैजल ने दिल्ली में कोरोनावायरस के मरीजों के लिए 5 दिन के अनिवार्य इंस्टीट्यूशनल क्वारंटीन के फैसले को वापस ले लिया है। एलजी के इस फैसले दिल्ली की आम आदमी पार्टी की सरकार ने विरोध किया था। दिल्ली सरकार ने इस आदेश का विरोध करते हुए कहा था कि यह ‘मनमाना’ आदेश है और इससे पहले से ही दबाव झेल रही स्वास्थ्य सेवा प्रणाली पर बोझ बढ़ेगा।
केजरीवाल ने बैठक में कहा कि कोरोना वायरस से संक्रमित अधिकतर मरीजों में संक्रमण के लक्षण नहीं हैं या उनमें मामूली लक्षण हैं। उनके लिए प्रबंध कैसे किए जा सकेंगे। रेलवे ने पृथक-वास के लिए जो कोच मुहैया कराए हैं, उनके भीतर इतनी गर्मी है कि मरीज वहां नहीं रह सकते।
आप नेता संजय सिंह ने उपराज्यपाल के आदेश का विरोध करते हुए कहा कि केंद्र‘तानाशाही’ कर रहा है। सिंह ने ट्वीट किया कि केंद्र की भाजपा सरकार तानाशाही पर उतारू है। जो लोग अपने घरों में ठीक हो सकते हैं, भाजपा उन्हें 47 डिग्री सेल्सियस की तपती गर्मी में रेल डिब्बों में क्यों रखना चाहती है? भाजपा के नेता रेल डिब्बों की आग भट्टी में दो दिन रहकर दिखाएं।