डिजिलेप अभियान को पूरे रीवा संभाग में युद्ध स्तर पर चलाएं- कमिश्नर डॉ. भार्गव

रविवार, 31 मई 2020 (18:36 IST)
रीवा। कोरोना संकट के कारण रीवा संभाग के सभी स्कूलों में नियमित कक्षाएं बंद हैं, ऐसी परिस्थिति में विद्यार्थियों को पढ़ाई का अवसर देने के लिए शासन द्वारा डिजिटल लर्निंग इनहैन्समेंट प्रोग्राम डिजिलेप शुरू किया गया है। रीवा संभाग के कमिश्नर डॉ. अशोक कुमार भार्गव ने जूम वीडियो कान्फ्रेंसिंग के माध्यम से डिजिलेप अभियान की समीक्षा की।
 
उन्होंने अधिकारियों को निर्देश देते हुए कहा कि बच्चे हमारे राष्ट्र के भविष्य हैं इनके ज्ञान का विस्तार समय का सदुपयोग आत्मविश्वास में वृद्धि, निर्णय लेने की क्षमता तथा तेजी से बदलती दुनिया से परिचित कराने के लिए बच्चों की शिक्षा नियमित हो किसी भी स्थिति में बच्चों की शिक्षा प्रभावित न हो कोरोना वायरस के संक्रमण के कारण वर्तमान में शिक्षण संस्थान प्रारंभ नहीं किए जा सकते हैं। 
 
उन्होंने कहा कि इस कमी को दूर करने के लिए शिक्षा विभाग द्वारा डिजिलेप कार्यक्रम शुरू किया गया है। यह विद्यार्थियों के लिए उनकी गुणात्मक शिक्षा के विकास का महत्वपूर्ण आयाम बन रहा है सभी जिला शिक्षा अधिकारी पूरे संभाग में डिजिलेप अभियान को युद्ध स्तर पर चलाएं कितनी भी कठिनाई और बाधाएं आएं, पर अब विद्यार्थियों की पढ़ाई नही रूकेगी। उन्हें डिजिटल लर्निंग से पढ़ाई का अवसर मिलेगा।
 
बैठक में अधिकारियों को निर्देश देते हुए कमिश्नर डॉ. भार्गव ने कहा कि कक्षा एक से 12वीं तक के सभी विद्यार्थियों को डिजिलेप अभियान से जोड़े जिससे उनकी पढ़ाई में बाधा न आए। इसके लिए विद्यार्थियों तथा उनके अभिभावकों से प्रत्येक शिक्षक मोबाइल फोन के माध्यम से संपर्क करें। हर शिक्षक प्रतिदिन कम से कम पांच अभिभावकों से अनिवार्य रूप से संपर्क करें। विशेषकर उन अभिभावकों से, जिनके पास वाट्सएप की सुविधा है किंतु वे ग्रुप से नहीं जुड़े हुए हैं। 
 
शिक्षक हर विद्यार्थी के पालक का फोन नंबर स्कूल में मौजूद डाटा बेस से प्राप्त करके विद्यार्थी का टेलीफोन कॉल रजिस्टर बनाए, जिससे विद्यार्थी को किए गए कॉल का विवरण दर्ज हो। सार्वजनिक स्थलों पर पोस्टर, बैनर तथा दीवार लेखन एवं अन्य माध्यमों से डिजिलेप अभियान का प्रचार-प्रसार कराएं। प्रत्येक ग्राम पंचायत में स्वसहायता समूहों के माध्यम से डिजिलेप अभियान के लिए जागरूकता कार्यक्रम आयोजित कराएं। 
 
बैठक में अभियान की समीक्षा करते हुए कमिश्नर डॉ. भार्गव ने कहा कि रीवा संभाग में डिजिलेप अभियान में अत्याधिक सुधार की आवश्यकता है सभी जिला शिक्षा अधिकारी डीपीसी सिंह, प्राचार्य डाइट तथा संकुल शिक्षक समय-समय पर आनलाइन बैठकें आयोजित कर डिजिलेप के क्रियान्वयन में आ रही कठिनाईयों को दूर करें। 
 
कक्षा 1 से 12वीं तक के सभी विद्यार्थियों तथा उनके अभिभावकों को डिजिलेप कार्यक्रम से अनिवार्य रूप से जोड़े जिससे विद्यार्थियों के भविष्य निर्माण में शिक्षक अपनी महत्वपूर्ण भूमिका का निर्वहन कर सके। जिला स्तर पर समय-समय पर वेबनार आयोजित करके अभियान की समीक्षा करें।

जिला स्तर पर आनलाइन कार्यक्रम के माध्यम से डिजिलेप अभियान के संबंध में विद्यार्थियों तथा उनके पालकों से सार्थक संवाद आयोजित करें। डिजिलेप कार्यक्रम में उत्कृष्ट कार्य करने वाले शिक्षकों को समारोह पूर्वक डिजिचैम्प प्रमाण पत्र प्रदान किया जाएगा। 
 
बैठक में कमिश्नर डॉ. भार्गव ने कहा कि डिजिलेप, वाट्सएप समूह में भेजी जा रही शिक्षण सामग्री को शिक्षक प्रतिदिन स्वंय देखें सही समय पर विद्यार्थी तक सामग्री पहुंचना सुनिश्चित करें। प्रतिदिन शिक्षक कम से कम पांच विद्यार्थियों से संपर्क करके उन्हें डिजिलेप अभियान से जोड़कर शिक्षक भागीदारी फार्म में दर्ज करें। विद्यार्थियों को समय-समय पर होमवर्क देकर उन्हें ऑनलाइन पढ़ाई से जोड़े रखें। 
 
उन्होंने कहा कि कोरोना वायरस की बजह से बच्चों की पढ़ाई किसी भी स्थिति में रूके नहीं बच्चों के मन में किसी प्रकार भय न हो इसके लिए उन्हें शासन द्वारा उपलब्ध कराई जा रही आनलाइन रचनात्मक सामग्री से जोड़ने का प्रयास करें। डिजिलेप कार्यक्रम के माध्यम से विद्यार्थियों तथा अभिभावकों से सतत संपर्क रखकर उनसे अभियान के संबंध में नियमित रूप से फीडबैक प्राप्त करें। 
 
डिजिलेप कार्यक्रम ई-लर्निंग का शानदार उदाहरण है। बैठक में संयुक्त संचालक शिक्षा अंजनी कुमार त्रिपाठी, जिला शिक्षा अधिकारी आरएन पटेल, डीपीसी सुदामा पटेल तथा वीडियो कान्फ्रेंसिंग के माध्यम से संभाग के अन्य जिलों के शिक्षा विभाग के अधिकारी तथा संकुल प्राचार्य शामिल हुए।

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