इस एक घंटे के दौरान ब्लॉक डील, प्री-ओपन सेशन, नॉर्मल सेशन, कॉल ऑक्शन और क्लोजिंग सेशन होगा. ब्लॉक डील सेशन के दौरान दो पार्टीज एक फिक्स्ड प्राइस पर सिक्योरिटी खरीदने और बेचने के लिए सहमत होते हैं और स्टॉक एक्सचेंज को बताते हैं। प्री-ओपन सेशन के दौरान स्टॉक एक्सचेंज इक्विलिब्रियम प्राइस निर्धारित करता है। मुहूर्त ट्रेडिंग में नॉर्मल सेशन एक घंटे का होता है। इसमें अधिकांश ट्रेडिंग होती है। कॉल ऑक्शन सेशन के दौरान इलिक्विड सिक्योरिटीज का कारोबार करते हैं। क्लोजिंग सेशन के दौरान ट्रेडर/इन्वेस्टर क्लोजिंग प्राइस पर मार्केट ऑर्डर प्लेस कर सकते हैं।
क्यों महत्वपूर्ण मुहूर्त ट्रेडिंग?
दिवाली पर यूं तो शेयर बाजार में छुट्टी रहती है परंतु शगुन हेतु 1 घंटा के लिए ट्रेडिंग करते हैं जिसे मुहूर्त ट्रेडिंग कहते हैं। यानी 1 घंटे के लिए शेयर बाजार विशेष समय पर खुलता है तब कुछ लोग मुहूर्त के रूप में लेन देने करते हैं। हिंदू पंचाग के अनुसार, इस दिन के कुछ 1 घंटे या जब तक शुभ मुहूर्त चलता है तब तक के लिए एक खास विंडो खुलती है जिसमें व्यापारी और निवेशक सिक्योरिटी खरीद और बेच सकते हैं। दिवाली का यह विशेष सत्र एक घंटे तक चलता है और अगले दिन बाजार बंद रहता है।
हिंदू व्यापारी वर्ग की मान्यता के अनुसार इस दिन लेखा या बहिखाता की पूजा करके पुन: इसकी शुरुआत करते हैं। उनका मानना है कि ऐसा करने से पूरे साल सौभाग्य और समृद्धि रहती है। उनका मानना है कि अगर वे इस दिन एक अच्छा व्यवसाय करते है तो आने वाला नया साल भी अच्छा होगा। दिवाली के दिन लक्ष्मी पूजन के समय व्यापारिक वर्ग मुहूर्त ट्रेडिंग करते हैं। व्यापारियों ने इसके लिए शेयर बाजार में विशेष सत्र की व्यवस्था की।