माह में 2 एकादशियां होती हैं अर्थात आपको माह में बस 2 बार और वर्ष के 365 दिनों में मात्र 24 बार ही नियमपूर्वक एकादशी व्रत रखना है। हालांकि प्रत्येक तीसरे वर्ष अधिकमास होने से 2 एकादशियां जुड़कर ये कुल 26 होती हैं। माघ में षटतिला और जया एकादशी आती है। जया एकादशी को अजा और भीष्म एकादशी भी कहते हैं। आओ जानते हैं इस व्रत को रखने से 4 फायदे।
जया एकादशी 23 फरवरी 2021 मंगलवार को है। इस दिन भगवान विष्णु की विधि-विधान से पूजा की जाती है। इस व्रत का महत्व भगवान श्रीकृष्ण ने युधिष्ठर को बताया। इस व्रत में भगवान विष्णु की पूजा में धूप, फल, फूल, दीप, पंचामृत आदि का प्रयोग करें।
2. जया एकादशी व्रत रखने से व्यक्ति भूत-पिशाच आदि योनियों में नहीं जाता है।
3. पुराणों के अनुसार जो व्यक्ति एकादशी करता रहता है, वह जीवन में कभी भी संकटों से नहीं घिरता।
एकादशी तिथि प्रारम्भ- फरवरी 22, 2021 को 05:16pm बजे
एकादशी तिथि समाप्त- फरवरी 23, 2021 को 06:05pm बजे
जया एकादशी पारणा शुभ मुहूर्त- 24 फरवरी को सुबह 06 बजकर 51 मिनट से लेकर सुबह 09 बजकर 09 मिनट तक.
पारणा अवधि- 2 घंटे 17 मिनट.