पूजन सामग्री और विधि : एक लोटा जल, गोबर से बनीं होलिका और प्रह्लाद की प्रतिमाएं रखें। साथ ही 5 माला, रोली, गंध, पुष्प, कच्चा सूत, गुड़, साबुत हल्दी, मूंग, गुलाल, नारियल, पांच प्रकार के अनाज, गुजिया, मिठाई और फल एकत्रित कर लें। एक माला पितरों की, दूसरी हनुमानजी की, तीसरी शीतला माता और चौथी घर परिवार के नाम की होती है।
पहले सभी सदस्यों को तिलक लगाएं। फिर होली के चारों और हाथ जोड़कर तीन या सात बार परिक्रमा करते हुए सूत के धागे को लपेंटे। इसके बाद सभी सामग्री को एक एक करके अर्पित करें। अंत में होलिका को अग्नि अर्पित करें। अगले दिन सुबह उठकर नित्यकर्म से निवृत्त होकर पितरों का तर्पण करें। फिर घर के देवी-देवताओं को अबीर-गुलाल अर्पित करें। इसके बाद घर के सभी सदस्यों के साथ होली खेलें।