लंदन। पंजाब नेशनल बैंक (पीएनबी) को करीब 13 हजार करोड़ रुपए की चपत लगाने वाले भारत के भगोड़े हीरा कारोबारी को बुधवार को लंदन के उच्च न्यायालय से भी उस समय तगड़ा झटका लगा, जब उसकी जमानत याचिका को खारिज कर दिया गया।
न्यायाधीश इंग्रिड सिमलर ने भारत की तरफ से पैरवी कर रहे ब्रिटेन की अभियोजन सेवा के वकीलों और नीरव के अधिवक्ताओं की दलीलें सुनने के बाद जमानत याचिका यह कहते हुए खारिज की कि इस बात के प्रमाण हैं कि नीरव आत्मसमर्पण नहीं करेगा। न्यायालय ने कहा कि उसके पास ऐसे प्रमाण हैं कि हीरा कारोबारी जमानत के बाद जांच को प्रभावित कर सकता है।
पीएनबी के साथ करीब 13 हजार करोड़ रुपए की धोखाधड़ी करने और मनी लॉन्ड्रिंग के मामले में नीरव भारत में वांछित है। ब्रिटेन से प्रत्यर्पित कर उसे भारत लाने के लिए अदालत में मामला चल रहा है। उच्च न्यायालय ने मंगलवार, 11 जून को नीरव की जमानत याचिका पर सुनवाई कर फैसला बुधवार को सुनाने के लिए कहा था। नीरव को 19 मार्च को गिरफ्तार किया गया था और वह पिछले 86 दिनों से लंदन की वांड्सवर्थ जेल में बंद है।