प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी 3 दिवसीय दौरे पर अमेरिका पहुंच चुके हैं। यहां एयरपोर्ट पर उनका भव्य स्वागत किया गया। क्वाड सम्मेलन, संयुक्त राष्ट्र महासभा में पीएम मोदी के भाषण के साथ ही सभी की नजरें भारतीय प्रधानमंत्री की राष्ट्रपति बाइडन से मुलाकात पर भी लगी हुई हैं।
वैसे तो पीएम मोदी 7 बार अमेरिका दौरे पर जा चुके हैं। हर बार उनका दौरा खास ही रहा है। बहरहाल इस बार पीएम मोदी का अमेरिकी दौरा भारत ही नहीं दुनिया के लिए भी बेहद महत्वपूर्ण है। यह दुनियाभर के लिए बेहद चिंताजनक दौर है।
कमजोर हुआ अमेरिका का रुतबा : अफगानिस्तान में तालिबान की वापसी के बाद अब दुनियाभर में अमेरिका का रुतबा कमजोर हुआ है। एक तरफ चीन और पाकिस्तान जैसे देश अफगानिस्तान के लिए जमकर लॉबिंग कर रहे हैं तो दूसरी तरफ अमेरिका तालिबान की खुलकर मुखालफत भी नहीं कर पा रहा है। ब्रिटेन, जर्मनी और फ्रांस जैसे शक्तिशाली यूरोपीय देशों ने भी एक तरह से चुप्पी साध ली है।
बहरहाल भारत ही ऐसा एकमात्र देश हैं जो खुलकर तालिबान शासन को मान्यता नहीं देने पर अड़ा हुआ है। इस मुश्किल समय में पीएम मोदी क्वाड देशों के संगठन को मजबूत कर चीन के सामने कड़ी चुनौती पेश कर सकते हैं।
संयुक्त राष्ट्र में भारत ने मांगी स्थायी सदस्यता : भारत लंबे समय से संयुक्त राष्ट्र में स्थायी सदस्यता की मांग कर रहा है। अगर भारत इस मिशन में कामयाब रहता है तो यह ना सिर्फ भारत के लिए बड़ी सफलता होगी बल्कि दुनिया को भी चीन के सामने एक मजबूत विकल्प मिल जाएगा। पीएम मोदी भी लंबे समय से इस कोशिश में जुटे हुए हैं कि संयुक्त राष्ट्र में भारत को स्थायी सदस्यता मिल जाए। हालांकि जिस चीन को भारत ने स्थायी सदस्यता दिलाई थी वही अब भारत की राह में सबसे बड़ा रोड़ा बना हुआ है।
मोदी-बाइडन मुलाकात पर दुनिया की नजर : दुनियाभर की नजर पीएम मोदी और राष्ट्रपति बाइडन की मुलाकात पर लगी हुई है। इस द्विपक्षीय बैठक में अफगानिस्तान के हालिया घटनाक्रम के बाद की मौजूदा क्षेत्रीय सुरक्षा स्थिति, पड़ोसी और अफगानिस्तान के दीर्घकालिक एवं प्राथमिकता वाले विकास साझेदार के तौर पर हमारे हितों पर भी चर्चा होगी।
दोनों दिग्गज कट्टरपंथ, चरमपंथ, सीमापार आतंकवाद की रोकथाम करने तथा वैश्विक आतंकवादी नेटवर्क को नष्ट करने की जरूरत पर भी चर्चा करेंगे। दुनिया की नजर इस पर भी रहेगी मोदी और बाइडेन की मुलाकात के दौरान उनकी 'बॉडी लेंग्वेज' कैसी रहेगी। क्योंकि ट्रंप और मोदी की मुलाकात काफी चर्चा में रही थी। दोनों ने एक दूसरे के दोस्त के रूप में पेश किया था।