पाकिस्तान स्थित जैश-ए-मोहम्मद से संबद्ध पीपुल्स एंटी-फासीस्ट फ्रंट (PAFF) ने बोटा पथरी हमले की जिम्मेदारी ली है। उसने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर एक वीडियो जारी किया है, जिसमें एक आतंकवादी घने जंगल में सेना की ओर रॉकेट दाग रहा है।
एक अधिकारी ने पुष्टि की है कि आतंकवादियों ने सेना के वाहन की ओर रॉकेट दागा था, लेकिन यह निशाना नहीं लगा और वाहन के पास ही गिरा, जिससे कोई नुकसान नहीं हुआ। अधिकारी ने कहा कि रॉकेट दागना चिंता का विषय है, क्योंकि जम्मू क्षेत्र या घाटी में सेना पर हाल ही में हुए किसी हमले में पहली बार इस हथियार का इस्तेमाल किया गया है।
उन्होंने कहा कि अगर यह वाहन पर लगता, तो इससे और अधिक नुकसान हो सकता था। अधिकारी ने आगे कहा कि बोटा पथरी में नियंत्रण रेखा के पास हमला करने वाला आतंकवादी समूह हाल ही में घुसपैठ करने वाला समूह नहीं था। उन्होंने कहा कि शुरुआती जांच के अनुसार ऐसा लगता है कि यह चार आतंकवादियों का समूह था जिसने हमला किया और इस साल की शुरुआत में घुसपैठ की थी।
रक्षाधिकारियों का कहना था कि हमें लगता है कि पिछले कुछ महीनों से बारामुल्ला जिले के जंगलों में मौजूद ज़्यादातर विदेशी आतंकवादियों के समूह ने ही हमला किया है। हमले के बाद भागते समय उनके द्वारा इस्तेमाल किए गए निशानों से पता चलता है कि वे उसी इलाके में वापस आ गए हैं, जहां से वे काम कर रहे थे।
अधिकारी ने कहा कि सुरक्षा बलों ने जंगल में तलाशी अभियान तेज कर दिया है, ड्रोन, हेलीकॉप्टरों का इस्तेमाल किया है और विशेष रूप से तंगमर्ग और गुलमर्ग में चौकियों को बढ़ा दिया है।