मध्यप्रदेश की सबसे हाईप्रोफाइल लोकसभा सीट गुना से कांग्रेस ने राव यादवेंद्र सिंह को चुनावी मैदान में उतारा है। गुना लोकसभा सीट जो सिंधिया राजघराने के गढ़ के तौर पर पहचानी जाती है वहां पर कांग्रेस उम्मीदवार राव यादवेंद्र सिंह भाजपा प्रत्याशी और केंद्रीय मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया को चुनौती देंगे। राव यादवेंद्र सिंह विधानसभा चुनाव से पहले भाजपा छोड़ कांग्रेस में शामिल हुए थे।
कौन है राव यादवेंद्र सिंह यादव?- भाजपा के दिग्गज उम्मीदवार केंद्रीय मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया के खिलाफ कांग्रेस ने राव यादवेंद्र सिंह को चुनावी मैदान में उतारकर सिंधिया को उनके ही गढ़ में घेरने की कोशिश की है। अशोकनगर से आने वाले यादवेंद्र सिंह सियासत का बड़ा नाम है उनके पिता देशराज सिंह तीन बार भाजपा के टिकट पर विधायक रह चुके है। वहीं यादवेंद्र सिंह वर्तमान में जिला पंचायत सदस्य हैं और उनकी पत्नी और मां भी जिला पंचायत सदस्य हैं। यादवेंद्र सिंह के पिता राव देशराज सिंह तीन बार भाजपा से विधायक रहने के साथ दो बार भाजपा के टिकट पर लोकसभा चुनाव भी लड़ा।
राव यादवेंद्र सिंह 2023 के विधानसभा चुनाव से पहले भाजपा छोड़ कांग्रेस में शामिल हुए थे। कांग्रेस ने उन्हें मुंगावली विधानसभा सीट से टिक दिया था, लेकिन उन्हें भाजपा के उम्मीदवार बृजेंद्र सिंह यादव से हार का सामना करना पड़ा था।
जातीय समीकरण साधने का दांव-भाजपा के दिग्गज नेता ज्योतिरादित्य सिंधिया के खिलाफ कांग्रेस ने राव यादवेंद्र सिंह यादव को टिकट देकर जातीय समीकरण साधने की चुनौती दी है। 2019 के लोकसभा चुनाव में भाजपा उम्मीदवार केपी यादव ने कांग्रेस प्रत्याशी ज्योतिरादित्य सिंधिया को उनके ही गढ़ में मात दे दी थी। 2019 के लोकसभा चुनाव में कांग्रेस प्रत्याशी ज्योतिरादित्य सिंधिया को भाजपा उम्मीदवार डॉ. केपी यादव ने 1 लाख 25 हजार 549 वोटों से हराया था। ऐसे में इस बार फिर कांग्रेस ने राव यादवेंद्र सिंह यादव को चुनावी मैदान में उतार कर यादव वोटर्स को साधने की कोशिश की है।
गुना लोकसभा सीट-सिंधिया परिवार के गढ़ के तौर पर पहचानी जाने वाली गुना लोकसभा सीट में 8 विधानसभा क्षेत्र आते हैं। जिसमें गुना, बमोरी, शिवपुरी, कोलारस, पिछोर, चंदेरी, मुंगावली और अशोकनगर। गुना लोकसभा सीट में 20 लाख के करीब वोटर्स उम्मीदवारों की हार जीत का फैसला 7 मई को करेंगे।