भोपाल । मध्य प्रदेश में भाजपा को लगे बड़े झटके के बाद अब पार्टी हाईकमान ने डैमेज कंट्रोल की कमान अपने हाथों में ले ली है। सूत्र बताते हैं कि पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष और गृहमंत्री अमित शाह ने दो विधायकों के पाला बदलकर कांग्रेस के खेमे में जाने पर प्रदेश के नेताओं को कड़ी फटकार लगाने के साथ ही अब खुद पूरे मामले को अपने संज्ञान में ले लिया है।
वहीं पार्टी का शीर्ष नेतृत्व चार अन्य विधायकों के कांग्रेस के संपर्क में होने की खबरों पर भी गंभीर हो गया है। विधायकों के बागी होकर कमलनाथ सरकार को समर्थन देने की रिपोर्ट लेकर दिल्ली गए पार्टी के प्रदेश अध्यक्ष राकेश सिंह को केंद्रीय नेतृत्व ने कड़ी फटकार लगाई है। शुक्रवार को प्रदेश अध्यक्ष राकेश सिंह ने दिल्ली में संगठन महामंत्री बीएल संतोष से मिलकर पूरे मामले की रिपोर्ट सौंपी।
बयानबाजी पर नाराज हाईकमान – कमलनाथ सरकार के खिलाफ पार्टी के नेताओं के लगातार बयानबाजी को लेकर भी हाईकमान ने अपनी नाराजगी जाहिर की है। सदन में नेता प्रतिपक्ष गोपाल भार्गव ने नंबर -1 और नंबर -2 के बयान से पार्टी के कार्यकारी अध्यक्ष जेपी नड्डा बेहद नाराज है। हाईकमान की नाराजगी के बाद ही पार्टी संगठन ने नेता प्रतिपक्ष के बयान से अपने आप को अलग कर लिया है। वहीं अब हाईकमान ने सख्त तेवर अपनाते हुए बड़बोले नेताओं को संभलकर बयानबाजी करने की हिदायत दी है।
विधायकों को एकजुट रखने की कोशिश – हाईकमान की नाराजगी के बाद भाजपा का प्रदेश संगठन अब पार्टी को और टूट से बचाने की कोशिश में जुट गया है। इसके लिए पार्टी ने एक अगस्त को प्रदेश मुख्यालय में एक बड़ी बैठक बुलाई है। इसमें कई केंद्रीय मंत्री, पार्टी विधायक और जिला संगठन के नेता शामिल होंगे। इसके साथ ही पार्टी के बड़े नेता अब भी बागी हुए दो विधायकों को मनाने में जुटे हुए हैं।