इतालवी कंपनी अगस्ता-वेस्टलैंड ने भारत से हेलिकॉप्टर सौदे को अपने पक्ष में करने के लिए वह सब कुछ किया, जो उससे बन पड़ा। तत्कालीन वायुसेना प्रमुख एस.पी. त्यागी तक पहुंच बनाने के लिए बिचौलिए ने कैश के साथ-साथ लड़कियों का भी इस्तेमाल किया था।
इस बीच, सीबीआई जांच पूरी होने तक भारत सरकार ने इटली की कंपनी ने बचे हुए 9 हेलीकॉप्टरों की डिलिवरी लेने से इनकार करते हुए भुगतान पर भी रोक लगा दी।
करीब 3600 करोड़ रुपए के इस सौदे के लिए भारत में 350 करोड़ से ज्यादा की रिश्वत देने के आरोप में फिनमेकेनिका के सीईओ जूसिपी ओरसी को इटली में सोमवार को ही गिरफ्तार किया जा चुका है।
जांच रिपोर्ट के मुताबिक, इस मामले में दलाल का दावा है कि वह त्यागी के एयर चीफ मार्शल रहते उनसे 6 से 7 बार मिला था। यह त्यागी के उस दावे के बिल्कुल उलट है, जिसमें उन्होंने माना था कि उनकी मुलाकात उस व्यक्ति से एक बार हुई थी, जिसे इस सौदे में दलाल बताया जा रहा है।
इस डील के बिचौलियों की बातचीत का ब्योरा जांचकर्ताओं ने इटली के कोर्ट में पेश किया है। इसके मुताबिक, दलालों की गर्लफ्रेंड्स के जरिए त्यागी के रिश्तेदारों से संपर्क साधा गया।
जांच रिपोर्ट से पता चलता है कि जब अगस्ता-वेस्टलैंड को लगा कि वह डील से बाहर हो सकती है, तो कंपनी ने कार्लो और उसके बॉस राल्फ से संपर्क साधा। ये दोनों एस.पी. त्यागी के रिश्तेदारों से परिचित थे।
दरअसल, अगस्ता-वेस्टलैंड के हेलिकॉप्टर 18000 फीट की ऊंचाई पर उड़ान नहीं भर सकते, जबकि वीआईपी हेलिकॉप्टर के लिए निकाले गए टेंडर में यह शर्त रखी गई थी। बाद में टेंडर में बदलाव करके हेलिकॉप्टर की उड़ान क्षमता घटाकर 15 हजार फीट कर दी गई। इससे अगस्ता-वेस्टलैंड को फायदा हुआ और डील उसे मिल गई। (भाषा)