नई दिल्ली। दिल्ली उच्च न्यायालय से 'लाभ का पद' मामले में आम आदमी पार्टी (आप) के अयोग्य ठहराए गए 20 विधायकों को सोमवार को उस वक्त फौरी राहत मिली, जब न्यायालय ने इस मामले को युगल पीठ को सौंपते हुए उपचुनाव न कराए जाने के अंतरिम आदेश को जारी रखा।
चुनाव आयोग की सिफारिश पर राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने 21 जनवरी को आप के 20 विधायकों को दोहरे लाभ के पद के मामले में अयोग्य ठहराया था। विधायकों ने इस फैसले के खिलाफ उच्च न्यायालय में अपील की थी। पिछली सुनवाई के दौरान न्यायालय ने सोमवार की तारीख तय करते हुए आयोग को इन सीटों पर उपचुनाव की घोषणा नहीं करने को कहा था। (वार्ता)