Chhangur Baba Case : प्रवर्तन निदेशालय (ED) ने शुक्रवार को कहा कि उसे पता चला है कि उत्तर प्रदेश में अवैध धर्मांतरण गिरोह से जुड़े धनशोधन के एक मामले में जांच के घेरे में आए छांगुर बाबा को 22 बैंक खातों में 60 करोड़ रुपए की धनराशि प्राप्त हुई थी। इसमें विदेश से प्राप्त हुई बड़ी धनराशि भी शामिल है। संघीय जांच एजेंसी ने छांगुर बाबा के पैतृक जिले बलरामपुर में एक दर्जन से अधिक ठिकानों और मुंबई में 2 जगहों पर छापेमारी पूरी करने के बाद एक बयान जारी करके यह जानकारी दी। ये छापे बृहस्पतिवार को मारे गए। छांगुर बाबा, उसके बेटे महबूब और उसके सहयोगियों नवीन रोहरा उर्फ जमालुद्दीन और नीतू उर्फ नसरीन को एटीएस ने गिरफ्तार किया था।
छांगुर बाबा उर्फ जलालुद्दीन उर्फ करीमुल्ला शाह के खिलाफ धन शोधन का मामला हाल ही में उत्तर प्रदेश आतंकवाद निरोधी दस्ते (एटीएस) द्वारा लखनऊ के गोमती नगर स्थित एक पुलिस थाने में भारतीय दंड संहिता और उत्तर प्रदेश विधि विरुद्ध धर्म संपरिवर्तन प्रतिषेध अधिनियम, 2021 की विभिन्न धाराओं के तहत दर्ज की गई एक प्राथमिकी पर आधारित है।
छांगुर बाबा, उसके बेटे महबूब और उसके सहयोगियों नवीन रोहरा उर्फ जमालुद्दीन और नीतू उर्फ नसरीन को एटीएस ने गिरफ्तार किया था। वे वर्तमान में जेल में बंद हैं। एटीएस की शिकायत में गैरकानूनी धर्मांतरण, विदेशी धन के उपयोग और राष्ट्रीय सुरक्षा के लिए संभावित खतरा पैदा करने वाली गतिविधियों से जुड़ी एक बड़े पैमाने की साजिश का आरोप लगाया गया है।
छांगुर बाबा और उनके सहयोगियों पर बलरामपुर स्थित चांद औलिया दरगाह परिसर से संचालित एक व्यापक गिरोह स्थापित करने का आरोप है, जहां वे नियमित रूप से भारतीय और विदेशी नागरिकों की बड़ी सभाओं का आयोजन करते थे। ईडी ने कहा, उस पर अन्य धर्मों के लोगों, खासकर अनुसूचित जातियों और हिंदू धर्म से जुड़े आर्थिक रूप से वंचित लोगों को धर्मांतरण के लिए व्यवस्थित रूप से प्रेरित करने, मजबूर करने और उनके साथ छल करने का आरोप है।
एजेंसी ने कहा कि उसने छांगुर बाबा और उसके सहयोगियों से संबंधित 22 बैंक खातों का विश्लेषण किया और पाया है कि उसे और उसके सहयोगियों को 60 करोड़ रुपए से अधिक की धनराशि प्राप्त हुई थी। ईडी ने कहा, यह भी पाया गया कि छांगुर बाबा और उनके सहयोगियों ने विदेश से बड़ी मात्रा में धन प्राप्त किया है।
तलाशी के दौरान कई दस्तावेज़ भी जब्त किए गए, जिनसे पता चलता है कि अपराध की आय (अवैध धन) मुख्य रूप से विभिन्न लोगों को करोड़ों रुपए की अचल संपत्तियां खरीदने और इन संपत्तियों पर निर्माण कार्य करने के लिए हस्तांतरित की गई थी। ईडी ने कहा कि छांगुर बाबा द्वारा अर्जित सभी अचल संपत्तियां उसके सहयोगियों, नवीन रोहरा और नीतू रोहरा के नाम पर हैं, ताकि धन शोधन में उसकी वास्तविक संलिप्तता को छिपाया जा सके।
छांगुर बाबा की गिरफ्तारी के बाद बलरामपुर में उससे जुड़े अवैध निर्माणों को जिला प्रशासन ने ढहा दिया था। उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने आरोपियों के कृत्यों को न केवल समाज-विरोधी, बल्कि राष्ट्र-विरोधी करार दिया था। (भाषा)
Edited By : Chetan Gour