दुनिया को कैसे नेताओं की जरूरत? : प्रधान न्यायाधीश ने ऐसे समय में कमजोर पड़ने के लिए खेद जताया, जब वह पद छोड़ने वाले हैं। उन्होंने कहा कि वह भविष्य और अतीत की डर और चिंताओं से बहुत अधिक चिंतित हैं। उन्होंने कहा कि जब आप अपनी यात्रा की जटिलताओं से निपट रहे हों, तो एक कदम पीछे हटने, पुनर्मूल्यांकन करने और खुद से पूछने से न डरें कि क्या मैं किसी मंजिल की ओर दौड़ रहा हूं, या मैं खुद की ओर दौड़ रहा हूं? अंतर सूक्ष्म है, फिर भी गहरा है। आखिरकार, दुनिया को ऐसे नेताओं की जरूरत है जो सिर्फ महत्वाकांक्षा से नहीं बल्कि उद्देश्य से प्रेरित हों।
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