नई दिल्ली। पार्टी नेतृत्व पर सवाल खड़े किए जाने के बाद कांग्रेस के वरिष्ठ नेता कपिल सिब्बल के आवास के बाहर कांग्रेस नेताओं ने प्रदर्शन किया और उनके खिलाफ जमकर नारेबाजी की।
दिल्ली प्रदेश कांग्रेस कमेटी के एक वरिष्ठ नेता ने बताते कहा कि सिब्बल के बयान से कार्यकर्ता आहत हुए और इस वजह से उन्होंने विरोध प्रदर्शन किया। सिब्बल के आवास के बाहर पहुंचे कांग्रेस कार्यकर्ताओं ने हाथों में तख्ती ले रखी थी जिस पर 'गेट वेल सून सिब्बल' (सिब्बल आप जल्द स्वस्थ हों) लिखा हुआ था। उन्होंने 'गद्दारों को पार्टी से बाहर निकालो' के नारे भी लगाए। कांग्रेस की दिल्ली इकाई के एक वरिष्ठ नेता ने कहा कि सिब्बल साहब ने जो बयान दिया है और जिस तरह से हमारी पार्टी के शीर्ष नेतृत्व पर सवाल खड़े किए हैं, उससे कार्यकर्ता बहुत आहत हैं। कार्यकर्ता अपने आप उनके आवास के बाहर पहुंचे और प्रदर्शन किया।
सिब्बल ने पार्टी की पंजाब इकाई में मचे घमासान और कांग्रेस की मौजूदा स्थिति को लेकर बुधवार को पार्टी नेतृत्व पर सवाल खड़े किए और कहा कि कांग्रेस कार्यसमिति (सीडब्ल्यूसी) की बैठक बुलाकर इस स्थिति पर चर्चा होनी चाहिए तथा संगठनात्मक चुनाव कराए जाने चाहिए। उन्होंने कई नेताओं के पार्टी छोड़ने का उल्लेख करते हुए गांधी परिवार पर इशारों-इशारों में कटाक्ष किया कि जो लोग इनके खासमखास थे वो छोड़कर चले गए, लेकिन जिन्हें वे खासमखास नहीं मानते वे आज भी इनके साथ खड़े हैं। सिब्बल ने जोर देकर कहा कि हम 'जी हुजूर 23' नहीं हैं। हम अपनी बात रखते रहेंगे।
इधर अजय माकन ने कपिल सिब्बल के इन बयानों के बाद उन पर पलटवार किया है। माकन ने कहा कि सोनिया गांधी ने कपिल सिब्बल को संगठनात्मक पृष्ठभूमि नहीं होने के बावजूद केंद्रीय मंत्री बनना सुनिश्चित किया। पार्टी में हर किसी की बातें सुनी जा रही है। उन्होंने कहा कि सिब्बल और अन्य सभी से यह कहना चाहता हूं कि वे संगठन का अपमान न करें, जिसने उन्हें एक पहचान दी है।