भुवनेश्वर। बंगाल की खाड़ी के ऊपर चक्रवाती तूफान 'तितली' ने बुधवार को बेहद प्रचंड रूप ले लिया और यह ओडिशा-आंध्र प्रदेश तट की ओर बढ़ रहा है, जिसके चलते ओडिशा सरकार ने पांच तटीय जिलों से लगभग 2 लाख लोगों को सुरक्षित स्थानों पर पहुंचाना शुरू कर दिया है। तूफान की प्रचंडता को देखते हुए बंगाल भी अलर्ट पर है।
मौसम विभाग के समुद्र में ऊंची लहरें उठने के पूर्वानुमान के मद्देनजर ओडिशा के मुख्यमंत्री नवीन पटनायक ने हालात का जायजा लिया। उन्होंने गंजम, पुरी, खुर्दा, केंद्रपाड़ा और जगतसिंहपुर जिलों के कलेक्टरों से तटीय क्षेत्र में निचले इलाकों में रह रहे लोगों को तुरंत सुरक्षित स्थानों पर पहुंचाने को कहा है।
उन्होंने अधिकारियों को यह सुनिश्चित करने को भी कहा कि चक्रवात के चलते किसी भी व्यक्ति की जान नहीं जाए और लोगों के लिए चक्रवात आश्रय स्थलों को तैयार रखने को भी कहा। पटनायक ने राज्य में भारी से अत्यंत भारी बारिश के पूर्वानुमान के चलते गुरुवार और शुक्रवार को सभी स्कूल-कॉलेजों और आंगनवाड़ी केंद्रों को बंद रखने का आदेश दिया। यही नहीं, कॉलेज छात्रसंघ चुनाव भी स्थगित कर दिए गए हैं।
विशेष राहत आयुक्त कार्यालय के एक अधिकारी ने कहा कि बुधवार अपराह्न तक 50 हजार लोगों को सुरक्षित स्थानों पर पहुंचा दिया गया, जिनमें से ज्यादातर गंजम और पुरी जिलों से हैं। मुख्य सचिव एपी पाधी ने बताया कि यहां चक्रवात ‘तितली’ के गुरुवार को करीब साढ़े 5 बजे पहुंचने की आशंका है।
समुद्र में उठेंगी 1 मीटर तक की ऊंची लहरें : उन्होंने कहा कि चक्रवात पहुंचने के दौरान समुद्र में करीब एक मीटर ऊंची लहरें उठने के मौसम विभाग के अनुमान के मद्देनजर तुरंत स्थान खाली कराने की प्रक्रिया शुरू कर दी गई। मौसम विभाग ने बताया कि गंजम, गजपति, पुरी, जगतसिंहपुर, केंद्रपाड़ा, खुर्दा, नयागढ़, कटक, जाजपुर, भद्रक और बालासोर जैसे जिलों में गुरुवार तक भारी से बहुत भारी बारिश होने की आशंका है।
60 किलोमीटर प्रति घंटे की रफ्तार से हवाएं : चक्रवात के प्रभाव के चलते बंगाल के पूर्वी एवं पश्चिमी मिदनापुर के तटीय एवं जमीनी क्षेत्रों, झाड़ग्राम, दक्षिणी एवं उत्तरी 24 परगना जिलों में बुधवार की शाम से 60 किलोमीटर प्रति घंटे की रफ्तार से हवाएं चलेंगी। विभाग ने कहा कि दीघा, शंकरपुर, मंदरमणि और राज्य के अन्य तटीय क्षेत्रों में पर्यटकों से कहा गया है कि वे इस दौरान गहरे समुद्र में नहीं जाएं।