कोलकाता। विश्व स्वास्थ्य संगठन ने कहा है कि एचआईवी से संक्रमित 1.8 करोड़ लोग इस बीमारी से इलाज के लिए एंटीर्रिटोवायरल थेरेपी (एआरटी) ले रहे हैं, जबकि इतनी ही संख्या में लोग जीवनरक्षक इलाज से वंचित हैं।
साथ ही विश्व स्वास्थ्य संगठन ने एचआईवी का पता लगाने के लिए स्वपरीक्षण के संबंध में नए दिशानिर्देश जारी किए हैं। गुरुवार को विश्व एड्स दिवस है और इसकी पूर्व संध्या पर जारी डब्ल्यूएचओ की रिपोर्ट में कहा गया है कि विश्व स्वास्थ्य संगठन की सिफारिश है कि एचआईवी संक्रमित हर व्यक्ति को एआरटी दिया जाना चाहिए और इसके कार्यान्वयन में सबसे बड़ी बाधा इस बीमारी का पता न चल पाना है।
डब्ल्यूएचओ की महानिदेशक मार्गेट्र चान ने कहा, एचआईवी से संक्रमित लाखों लोग उस जीवनरक्षक इलाज से अभी भी वंचित हैं, जो दूसरों तक एचआईवी के प्रसार को रोक सकता है।