भुवनेश्वर। प्रख्यात लेखिका गीता मेहता ने पद्मश्री सम्मान लेने से इनकार कर दिया है। उनका कहना है कि इस वर्ष बड़े चुनाव होने हैं और उनके पुरस्कार लेने का गलत अर्थ लगाया जा सकता है।
मेहता ओडिशा के मुख्यमंत्री नवीन पटनायक की बहन हैं। उन्हें साहित्य और शिक्षा के क्षेत्र में उल्लेखनीय योगदान देने के लिए पद्मश्री पुरस्कार से सम्मानित करने की घोषणा की गई है। न्यूयॉर्क से उन्होंने एक बयान जारी कर कहा, मैं इस बात से बेहद सम्मानित महसूस कर रही हूं कि भारत सरकार मुझे पद्मश्री के योग्य समझ रही है, लेकिन बड़े खेद के साथ मैं ऐसा महसूस कर रही हूं कि मुझे इसे लेने से इनकार कर देना चाहिए।
उन्होंने कहा, क्योंकि आम चुनाव होने वाले हैं और पुरस्कार देने की घोषणा का वक्त गलत संदेश दे सकता है, जिससे सरकार और मुझे असहज स्थिति का सामना करना पड़ सकता है। ऐसा होने पर मुझे ज्यादा पछतावा होगा।
लेखिका इस वक्त न्यूयॉर्क में हैं। ‘कर्म कोला’, ‘ए रिवर सूत्र’ ‘स्नेक्स एडं लैडर्स : ग्लिम्सेज ऑफ मॉर्डन इंडिया’ आदि गीता की प्रमुख पुस्तकों में शामिल हैं। साथ ही 76 वर्षीय गीता ने 14 वृत्तचित्रों का निर्माण या निर्देशन भी किया है।