नई दिल्ली। भाजपा के वरिष्ठ नेता अरुण जेटली ने कांग्रेस के ‘प्रथम परिवार’ को निशाने पर लेते हुए बुधवार को सत्तारुढ़ दल से सवाल किया कि क्या उसमें चुनावी जंग में नरेन्द्र मोदी से राहुल गांधी के नेतृत्व की हार होने की सचाई को स्वीकार करने की ताकत है।
पार्टी के वरिष्ठ नेता अरुण जेटली ने कहा कि क्या कांग्रेस पार्टी में ईमानदारी से यह स्वीकार करने की क्षमता है कि उसकी पार्टी के अघोषित प्रधानमंत्री पद के उम्मीदवार, राहुल गांधी, नरेन्द्र मोदी के सामने कहीं नहीं टिक पाए?
एक परिवार द्वारा नियंत्रित होने का कांग्रेस पर आरोप लगाते हुए राज्यसभा में अभी नेता प्रतिपक्ष जेटली ने अपने ब्लॉग में उक्त सवाल उठाने के साथ ही कहा कि सोनिया-राहुल के नेतृत्व वाली पार्टी में अपनी गलतियों को सुधारने की क्षमता नहीं है।
उन्होंने कहा कि एक परिवार द्वारा नियंत्रित होने के कारण कांग्रेस की सोच में यह समाया हुआ है कि यह परिवार कोई गलती नहीं कर सकता। उसे (परिवार) या तो गुमराह किया गया है या फिर असफलता की जिम्मेदारी किसी और की है।
एग्जिट पोल के अनुमानों का उल्लेख करते हुए उन्होंने कहा कि इनमें कांग्रेस की निराशाजनक तस्वीर उभरकर सामने आई है। ऐसे दुर्दिन असामान्य बात नहीं हैं। ये राजनीतिक चक्र का हिस्सा हैं। उन्होंने कहा कि जीत में विनम्रता और पराजय में शालीनता परिपक्व राजनीतिक सोच को दर्शाती है।
जेटली ने कहा कि प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह की उनकी ओर से तारीफ किए जाने पर भी सलमान खुर्शीद ने जो प्रतिक्रिया दी है, वह निराशाजनक है।
उन्होंने कहा कि इसी तरह निवर्ततमान सरकार द्वारा सेना प्रमुख की नियुक्ति किए जाने की आलोचनाओं पर एक अन्य केंद्रीय मंत्री आनंद शर्मा ने जो बयान दिया है, वह अहंकार की पराकाष्ठा है। (भाषा)