Former Chief Minister Vasundhara Raje News: राजस्थान की पूर्व मुख्यमंत्री और झालरापाटन सीट से भाजपा प्रत्याशी वसुंधरा राजे ने झालावाड़ में एक चुनावी सभा में 'इमोशनल' होते हुए कहा कि मुझे लग रहा है कि मैं अब रिटायर हो सकती हूं। उन्होंने कहा कि सांसद बेटे दुष्यंत सिंह को सुनकर आज लग रहा है कि वो ठीक है। इससे उन्होंने यह संकेत भी दिया कि वे अपनी 'राजनीतिक विरासत' बेटे दुष्यंत को पूरी तरह सौंपना चाहती हैं।
दरअसल, राजस्थान में मुख्यमंत्री पद को लेकर भाजपा में भी घमासान है। सरकार बनने के स्थिति में राज्य की दो बार मुख्यमंत्री रहीं वसुंधरा एक बार फिर सीएम पद पर अपना दावा ठोक सकती हैं। ऐसे में रिटायरमेंट की बात उनका इमोशनल दांव भी माना जा रहा है। जब उन्होंने रिटायरमेंट की बात की तो वहां मौजूद लोगों ने तालियां भी बजाईं।
राजस्थान में अक्सर मुख्यमंत्री पद की उम्मीदवार के तौर पर देखी जाने वाली भाजपा की नेता वसुंधरा राजे ने शुक्रवार को एक जनप्रतिनिधि के तौर पर अपने बेटे व सांसद दुष्यंत राजे की प्रगति का जिक्र करते हुए कहा कि उन्हें लगता है कि वह अब रिटायर हो सकती हैं। वसुंधरा राजस्थान में 25 नवंबर को होने वाले विधानसभा चुनाव के लिए शनिवार को झालावाड़ सीट से नामांकन पत्र दाखिल करेंगी।
जनसभा में वसुंधरा ने बीते तीन दशक में क्षेत्र में हुए विकास कार्यों को रेखांकित करते हुए सड़कों, जलापूर्ति परियोजनाओं और वायु व रेल कनेक्टिविटी का उल्लेख किया। भाजपा की वरिष्ठ नेता ने कहा कि आज लोग पूछ रहे हैं कि झालावाड़ कहां है। लोग यहां निवेश करना चाहते हैं।
वसुंधरा ने सरकारी भर्तियों के प्रश्नपत्र लीक होने की घटनाओं और बेरोजगारी जैसे मुद्दों पर राज्य की कांग्रेस सरकार पर निशाना साधते हुए कहा कि राजस्थान फिर से नंबर एक राज्य तभी बनेगा, जब जनता भाजपा को आगे ले जाने का काम करेगी।
दसवीं बार नामांकन : वसुंधरा ने कहा कि झालावाड़ में इस बार मेरा 10वां नामांकन है। पहली बार मैंने 1989 में सांसद के लिए नामांकन भरा था। मैं यहां से लगातार पांच बार सांसद चुनी गई। चार बार विधायक चुनी गई। झालवाड़ के लोगों के आशीर्वाद से ही 1998 में विदेश मंत्री बनी। कई अन्य महत्वपूर्ण पदों पर भी रही। प्रदेश की पहली महिला मुख्यमंत्री भी बनी। 2 बार राजस्थान की मुख्यमंत्री रही। अब पांचवीं बार विधायक के लिए नामांकन दाखिल किया है। आपने दुष्यंत सिंह को भी लगातार 4 बार सांसद बनाया।
उन्होंने कहा कि अधिकांश प्रत्याशी नामांकन भरने से लेकर चुनाव परिणाम आने तक अपना क्षेत्र छोड़कर कहीं नहीं जाते, लेकिन मैं सौभाग्यशाली हूं, कि मुझे पूरे समय झालावाड़ रुकने की आवश्यकता कभी महसूस नहीं हुई। यहां की जनता ने मेरा चुनाव लड़ा। झालावाड़ ने चुनाव लड़ा।
Edited by: Vrijendra Singh Jhala