प्रवर्तन निदेशालय (ED) ने तृणमूल कांग्रेस (TMC) नेता शाहजहां शेख के खिलाफ शनिवार को लुकआउट नोटिस जारी किया। उन्होंने बताया कि पश्चिम बंगाल में टीएमसी नेता शेख के आवास पर छापेमारी के दौरान भीड़ द्वारा ईडी के अधिकारियों पर हमला करने के एक दिन बाद केंद्रीय एजेंसी ने यह नोटिस जारी किया। हमले के बाद से ही शाहजहां शेख फरार है।
ऐसी आशंका है कि वह शुक्रवार की घटना के बाद देश से भाग सकते हैं। उत्तर 24 परगना जिले के संदेशखली में भीड़ के हमले में ईडी के तीन अधिकारी घायल हो गये थे और कई वाहन क्षतिग्रस्त हो गये थे।
ईडी अधिकारी ने कहा कि हमने टीएमसी नेता शेख के खिलाफ लुकआउट नोटिस जारी किया है और भारतीय हवाई अड्डा प्राधिकरण को आवश्यक निर्देश भेज दिए गए हैं।
शाहजहां शेख को राज्य मंत्री ज्योतिप्रियो मल्लिक का करीबी सहयोगी माना जाता है। मल्लिक को पिछले साल करोड़ों रुपए के राशन वितरण घोटाले के सिलसिले में गिरफ्तार किया गया था।
राष्ट्रपति शासन की मांग : पश्चिम बंगाल में प्रवर्तन निदेशालय (ED) की टीम पर हमले के बाद जहां राज्य में राजनीति गरमाई है और विपक्ष की तरफ से राष्ट्रपति शासन लागू करने की मांग की जा रही है।
तीन एफआईआर दर्ज : इस सब के बीच ईडी पर हमले को लेकर तीन एफआईआर दर्ज की गईं है। एक एफआईआर ईडी ने दर्ज कराई है तो वहीं दूसरी एफआई आर टीएमसी लीडर शाहजहां शेख की तरफ से दर्ज कराई गई है। इसमें बिना कोई दस्तावेज दिए घर का ताला तोड़ने का आरोप लगाया गया है। तीसरी एफआईआर बंगाल पुलिस ने खुद से दर्ज की है।
यह पुलिस ने स्वंत संज्ञान लेकर दर्ज की है। यह एफआईआर पुलिस ने मीडिया संस्थाओं द्वारा हमले की शिकायत के बाद दर्ज की है। ईडी ने हमले के बाद बंगाल में राशन घोटाले को लेकर अपनी कार्रवाई जारी रखी है। एजेंसियां