अभिभावकों पहले अध्यापिका से मिले, लेकिन उन्होंने अनसुनी कर दी। फिर वह प्रिंसीपल से मिले, उन्होंने भी शिकायत लेने से इंकार कर दिया। तब अभिभावकों ने पुलिस में शिकायत दर्ज कराई। पुलिस ने पूछताछ के लिए संबंद्ध अध्यापिका को बुलाया और उन्होंने फिर आरोप को गलत बताया।