राज्य संपत्ति विभाग के एक वरिष्ठ अधिकारी ने बताया, 'नोटिस जारी किए जा रहे हैं। शनिवार को सभी पूर्व मुख्यमंत्रियों को ये नोटिस पहुंच जाएंगे।' इस समय छह पूर्व मुख्यमंत्रियों नारायण दत्त तिवारी, मुलायम सिंह यादव, कल्याण सिंह, मायावती, राजनाथ सिंह और अखिलेश यादव के पास सरकारी बंगले हैं, जो वीवीआईपी जोन में पड़ते हैं।
उल्लेखनीय है कि उच्चतम न्यायालय ने इस महीने की शुरुआत में कहा कि उत्तर प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री सरकारी बंगले में नहीं रह सकते। शीर्ष अदालत ने कहा कि अगर किसी मुख्यमंत्री का कार्यकाल समाप्त होता है तो वह आम आदमी की ही तरह है। अदालत ने लोक प्रहरी नामक एनजीओ की ओर से दायर याचिका पर सुनवाई के दौरान ये फैसला सुनाया था।
याचिका में उत्तर प्रदेश मंत्री (वेतन भत्ते एवं अन्य प्रावधान) कानून 1981 में अखिलेश यादव की सरकार की ओर से किए गए संशोधनों को चुनौती दी गई थी। गौरतलब है कि समाजवादी पार्टी के संस्थापक मुलायम सिंह यादव ने उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ से उनके पांच कालिदास मार्ग स्थित आवास पर मुलाकात की थी जिसके बारे में बताया जाता है कि वे उच्चतम न्यायालय द्वारा पूर्व मुख्यमंत्रियों से उनके सरकारी बंगले खाली करने के निर्देश से उत्पन्न हालात पर चर्चा करने गए थे।
सरकारी अधिकारियों ने इसे शिष्टाचार भेंट बताया था, जबकि मुलायम के करीबी मानते हैं कि उन्होंने अपने बंगले से जुड़े मुद्दे पर बात की थी। मुलायम पांच विक्रमादित्य मार्ग पर रहते हैं, जबकि उनके पुत्र अखिलेश यादव बगल में ही चार विक्रमादित्य मार्ग पर रहते हैं। शीर्ष अदालत ने इस महीने की शुरुआत में ही उत्तर प्रदेश के सभी पूर्व मुख्यमंत्रियों को अपने सरकारी बंगले खाली करने के निर्देश दिए थे। (भाषा)