मुंबई। महाराष्ट्र के चिपलुन कस्बे में पिछले सप्ताह भारी बारिश के बीच एक राज्य परिवहन बस डिपो के प्रबंधक बेहद साहस दिखाते हुए डूबी बस के छत पर करीब 9 घंटे तक बैठे रहे ताकि दैनिक राजस्व की जमा की गई 9 लाख रुपए की राशि बारिश के पानी में बर्बाद न हो जाए। डिपो प्रबंधक रंजीत राजे-शिर्के के इस कदम की उनके सहकर्मी और अन्य लोग प्रशंसा कर रहे हैं।
खतरनाक मौसम के बीच साहस दिखाते हुए राजे-शिर्के डूबी हुई एक बस के छत पर चढ़ गए और नकदी को क्षति से बचाने के लिए करीब 9 घंटे तक वहां बैठे रहे। बाद में पुलिस ने उन्हें सुरक्षित बाहर निकाला। इस घटना को याद करते हुए राजे-शिर्के ने बताया कि भारी बारिश के बाद कार्यालय में जलस्तर को बढ़ता देख डिपो के वॉचमैन ने उन्हें तड़के साढ़े तीन बजे कॉल किया।
अधिकारी ने बताया कि नकदी को क्षति पहुंचाने से बचाने के लिए इसे मैंने प्लास्टिक के थैले में रख लिया। इसके बाद मैं और मेरे एक सहकर्मी करीब 6 बजे डूबी हुई एक बस की छत पर चढ़ गए। उन्होंने बताया कि 5 अन्य कर्मी भी अन्य बसों की छतों पर चढ़े हुए थे। पानी के दबाव की वजह से बसें हिल रही थीं और गिरने का डर था, लेकिन वे सभी धैर्य के साथ बस पर बैठे रहे।