बयान के अनुसार, कैबिनेट ने हिमाचल प्रदेश लोकतंत्र प्रहरी सम्मान अधिनियम, 2021 और हिमाचल प्रदेश लोकतंत्र प्रहरी सम्मान नियम, 2022 को समाप्त करने को भी मंजूरी दी। इसके तहत आपातकाल के दौरान जेल जाने वालों को 11 हजार रुपए प्रतिमाह पेंशन दिया जाता था।
बयान के अनुसार, कैबिनेट ने तय किया कि कर्मचारियों को सामान्य भविष्य निधि (जीपीएफ) के दायरे में लाया जाएगा। उसमें कहा गया है, 15 मई, 2003 के बाद सेवानिवृत्त हुए कर्मचारियों को नई पेंशन योजना के अधिकारियों को भी संभावित तारीख से पुरानी पेंशन योजना के तहत पेंशन दी जाएगी।
बयान के मुताबिक, कैबिनेट के इस फैसले से वित्त वर्ष 2023-24 में सरकार पर 1000 करोड़ रुपए का वित्तीय बोझ बढ़ेगा। सुक्खू ने कहा कि नियमों में आवश्यक संशोधन करने के बाद यह फैसला लिया गया है।
Edited By : Chetan Gour (भाषा)