लखनऊ। उत्तरप्रदेश के लखनऊ में देर रात अचानक कुछ ऐसा हुआ कि जिला प्रशासन व जिले के आला अधिकारी आनन-फानन में लखनऊ के रैन बसेरे में पहुंच गए और ऐसा करना उनकी मजबूरी भी थी, क्योंकि वहां पर मौजूद आम लोगों से कोई और नहीं, खुद उत्तरप्रदेश के मुखिया योगी आदित्यनाथ उनके हालचाल लेने पहुंचे थे।
जहां एक तरफ आला अधिकारियों में बेचैनी देखी जा रही थी तो वहीं दूसरी तरफ रैन बसेरे में मौजूद हर एक शख्स सिर्फ यही कह रहा था 'देखो-देखो, मुख्यमंत्रीजी आए', तो दूसरी तरफ खुद उत्तरप्रदेश के मुख्यमंत्री वहां पर मौजूद लोगों से पूछ रहे थे, 'अरे भाई कोई दिक्कत तो नहीं है'।
अब आप सोचिए कि जब प्रदेश के मुखिया इस तरह के सवाल खुद ही आम लोगों से कर रहे होंगे तो वहां पर मौजूद आला अधिकारियों की क्या हालत होगी?
प्राप्त जानकारी के अनुसार कड़ाके की ठंड में प्रशासन द्वारा किए गए इंतजामों को देखने के लिए उत्तरप्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ अचानक देर रात लखनऊ के जियामऊ और चकबस्त रोड स्थित रैनबसेरों का औचक निरीक्षण किया और उन्होंने वहां ठंड से बचने के इंतजाम देखे।
उन्होंने वहां पर मौजूद लोगों से रैन बसेरों की स्थिति के बारे में जानकारी लेते हुए अधिकारियों को निर्देशित किया कि किसी भी प्रकार की कोई दिक्कत यहां पर रहने वाले लोगों को नहीं होनी चाहिए और इनके लिए गर्म कपड़े के साथ-साथ अच्छे कंबल का इंतजाम रखो।
उन्होंने पर्याप्त बिस्तरों की व्यवस्था एवं चादरों को नियमित रूप से बदलने के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि अलाव जलाते रहना चाहिए। सर्दी में किसी भी व्यक्ति को कोई दिक्कत नहीं होनी चाहिए। जाते-जाते मुख्यमंत्री ने जिलाधिकारी एवं नगर आयुक्त को रैन बसेरों को व्यवस्थित और साफ-सुथरा रखने के कड़े निर्देश दिए।