Jyeshtha maah 6 मई से 4 जून 2023 तक : ज्येष्ठ मास में क्या करें, क्या करने से बचें

Jeth month 2023 in Hindi
साल 2023 में 6 मई से 4 जून तक हिन्दू महीना ज्येष्ठ मास रहेगा। इस माह के कुछ खास नियम है आइए जानते हैं...  
 
ज्येष्ठ माह में क्या खाएं और क्या नहीं (Do's and Don'ts in Jyeshtha Month):
 
1. इस माह बेल खाना चाहिए या बेल का रस पीना चाहिए।
 
2. इस माह में ज्यादा से ज्यादा पानी पीना चाहिए और लस्सी में तुकमरी (सब्जा बीज) का उपयोग करना चाहिए।
 
3. इस माह में लहसुन, राई, गर्मी करने वाली सब्जियां और फल नहीं खाना चाहिए।
 
4. इस माह में बैंगन खाने से दोष लगता है और रोग उत्पन्न होता है। यह संतान के लिए शुभ नहीं होता है।
 
5. इस माह में हरी सब्जियां, सत्तू, जल वाले फलों का उपयोग काफी लाभदायक होता है।
 
ज्येष्ठ में क्या न करें 
 
1. इस माह में जल की पूजा की जाती है। इस माह में जल को लेकर दो त्योहार मनाए जाते हैं, पहला गंगा दशहरा और दूसरा निर्जला एकादशी। 
 
2. घाघ ने कहा कि जो व्यक्ति ज्येष्ठ माह में दिन में सोता है वह रोगी होता है।
 
3. ज्येष्ठ के माह में ज्येष्ठ पुत्र या पुत्री का विवाह करना शुभ नहीं माना जाता है।
 
4. ज्येष्ठ माह में दोपहर में चलना खेलना मना है। इन महीनों में गर्मी का प्रकोप रहता है अत: ज्यादा घूमना-फिरना स्वास्थ्य के लिए हानिकारक है।
 
5. ज्येष्ठ माह में एक समय भोजन करना वाला निरोगी रहता है और धनवान बन जाता है। महाभारत के अनुशासन पर्व में लिखा है- 'ज्येष्ठामूलं तु यो मासमेकभक्तेन संक्षिपेत्। ऐश्वर्यमतुलं श्रेष्ठं पुमान्स्त्री वा प्रपद्यते।
 
6. इस माह तिल का दान करने से अकाल मृत्यु से जातक बचा रहता है। इस माह में शरीर पर तेल नहीं लगाना चाहिए।
 
7. ज्येष्ठ माह में हनुमानजी की प्रभु श्रीराम से मुलाकात हुई थी। इसीलिए इस माह में हनुमानजी की पूजा करने से लाभ मिलता है।
 
8. इस माह का स्वामी मंगल है। इसीलिए इस माह में मंगल का दान करना चाहिए और मंगलवार का व्रत रखना चाहिए। 
 
9. ज्येष्ठ माह में जल संरक्षण का कार्य करने का विशेष महत्व है।
 
10. इस माह वरुण और सूर्य देव की पूजा करने का भी महत्व है। वरुण जल के तो सूर्यदेव अग्नि के देवता है। 
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